प्रारूप लेखन क्या है ? | Prarup Lekhan Kya Hota Hai
प्रारूप लेखन क्या है ?
प्रारूप लेखन
सरकारी एवं गैर सरकारी कार्यालयों में दिन प्रति-दिन विविध कार्यों जैसे- पदों की रिक्त, माल की आपूर्ति, निर्णयों तथ्यों की जानकारी देने, स्थानांतरण, पदोन्नति , निविदा आदि की सूचना देने के लिए एक निश्चित प्रारूप में सूचना प्रसारित की जाती है इसी को प्रारूप कहते हैं।
प्रारूपण का अर्थ
हिंदी में प्रारूप लेखन को मसौदा लेखन, आलेखन, प्रारूपण, प्रालेखन आदि के नाम से जाना जाता है। यह शब्द अंग्रेजी का
ड्राफ्टिंग शब्द का पर्याय है। कार्यालयों में आवती पर टिप्पणी कार्य समाप्त होने
के बाद कार्यालयी पत्रोत्तर जो मसौदा तैयार किया जाता है, उसे प्रारूपण कहते हैं। टिपपण कार्य का
ही अंतिम सोपान प्रारूपण हैं, सरकारी अर्धसरकारी, गैरसरकारी, सार्वजनिक प्रतिष्ठानों व दफ्तरों में प्रारूप लेखन अधिक प्रचलित है।
प्रारूप लेखन की अवधारणा
जब किसी पत्र को अंतिम रूप देने के पहले जो
कच्चा मसौदा तैयार किया जाता है उसे प्रारूप लेखन कहते हैं, प्रारूप लेखन का अधिकांशतः उपयोग
शासकीय पत्रों में किया जाता है।
प्रारूप लिखने के नियम या प्रारूप के अनुदेश
प्रारूप या मसौदा लिखते समय निम्नलिखित
अनुदेशों का पालन किया जाना चाहिए
1- प्रारूप या मसौदा स्वतः स्पष्ट और स्वतः
पूर्ण होना चाहिए।
2- मसौदा यथासंभव संक्षिप्त होना चाहिए। यदि
किसी विशेष कारण हेतु प्रारूप लंबा या कठिन हो जाए तो अंत में ऊपर कही हुई बात का
सारांश लिखना उचित है।
3- लंबे वाक्यों से दूर रहना चाहिए, शब्दों को अनावश्यक रूप से घुमा फिराकर
नहीं लिखना चाहिए।
4- पत्र भेजने वाले को उत्तर देते समय उसके
पत्र की क्रम संख्या, दिनांक आदि लिखना चाहिए
5- यदि एक से अधिक पत्रों का उल्लेख करना
आवश्यक हों तो उस मसौदे के हासिए में में दिया जाना चाएि।
6- मसौदे में यह स्पष्ट होना किया जाना चाहिए
कि पत्र के साथ कितने संग्नक जायेंगे।
7- जिस सक्षम अधिकारी के हस्ताक्षर से पत्र
जारी किया जा रहा हो, मसौदे में उसका नाम, पदनाम आवश्यक रूप से देना चाहिए।
8- तत्काल तथा प्राथमिकता के रूप में जारी किए
जाने वाले प्रारूपों पर अनुभाग अधिकारी के स्तर के अधिकारी के आदेशों के अनुसार ‘तत्काल‘ अथवा ‘प्राथमिकता‘ लिखना आवश्यक है।
प्रारूप लेखन के प्रकार
प्रारूप लेखन कार्य की प्रकृति के आधार पर कई
प्रकार से किया जा सकता है। सरकारी कार्यालयों में निम्नलिखित प्रकार के प्रारूप
लेखन अधिक प्रचलित हैं।
- अनुस्मारक
- ज्ञापन
- कार्यालय आदेश
- परिपत्र अधिसूचना
- विज्ञप्ति
- प्रेस विज्ञप्ति
- विज्ञापन
- निविदा
- कार्यालय टिप्पणी
- तार
- पृष्ठांकन
- पावती
- संकल्प या प्रस्ताव
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