मध्य प्रदेश पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग सामान्य ज्ञान | MP Panchayat and Rural Development Department
मध्य प्रदेश पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग
पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग सामान्य परिचय
- भारत के संविधान के 73 वें संशोधन के अनुरूप प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायती राज व्यवस्था को सफल बनाने, विकास योजनाओं को मूर्तरूप दिया जाकर लोकतंत्रीय ग्रामीण स्थानीय व्यवस्था और जनभागिदारी को सुदृड़ करना, आर्थिक विकास एवं सामाजिक न्याय के लिये संविधान की 11 वीं अनुसूची में वर्णित विषयों से संबंधित योजनाओं के क्रियान्वयन, अनुश्रवण एवं प्रबधंन के बारे में पदाधिकारियों को समुचित मार्गदर्शन तथा प्रशिक्षण देना एवं पंचायतों को उनके अधिकार, कर्त्यव्य एवं दायित्वों को परिचित कराकर प्रदेश में ग्रामीण विकास त्वरित गति से हो ऐसी व्यवस्था सुनिश्चित करना।
पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के दायित्व
- पंचायत के सुदृढ़ीकरण हेतु सचिवीय एवं अंकेक्षण व्यवस्था
- पंचायत सचिव, प्रशिक्षण केंद्र प्रदेश में पंचायत सचिवों के प्रशिक्षण हेतु तीन प्रशिक्षण संस्थान संस्थित है जिनका मुख्य दायित्व ग्राम सहायकों, पंचायत सचिवों को ग्राम पंचायतो के कार्यों से परिचित कराकर उन्हे पंचायत राज अधिनियम के प्रावधान, नियमों का ज्ञान कराना इसके साथ ही राज्य शासन द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों मे चलाई जा रही सभी विकास योजनाओं तथा विभागीय गतिविधियों की जानकारी दी जाकर सफलता पूर्वक कार्यान्वयन संबधी प्रशिक्षण देना है ।
- पंचायत राज प्रशिक्षण- नवगठित पंचायतों के पदधारियों के नये पंचायत राज अधिनियम, नियम एवं समय-समय पर राज्य शासन द्वारा प्रसारित निर्देशों के परिवेश से अवगत कराने हेतु एवं उनके कर्त्त्यव्यों एवं उत्तरदायित्वों के प्रति जागरूक बनाने हेतु शासन द्वारा उनके प्रशिक्षण की व्यवस्था की जाती है ।
ग्राम पंचायत के मूलभुत कार्य
मध्यप्रदेश पंचायतराज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम 1993 की धारा-49 के अंतर्गत ग्राम पंचायतों को बहुत से मूलभूत कार्यों को संपादित करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है ।
पंचायत निर्वाचन :-
- मध्यप्रदेश पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम 1993 के अधीन मई, जून 1994 में संपूर्ण प्रदेश मे तीन चरणों में प्रथम बार त्रिस्तरीय पंचायतराज संस्थाओं का चुनाव पृथक एवं स्वतंत्र ईकाई के रूप में राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा कराया गया ।
- मध्यप्रदेश पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम के अंतर्गत भू-राजस्व उपकर, मुद्राशं शुल्क, अनुदान तथा जिला स्तरीय पंचायतराज निधि का गठन।
ग्रामीण विकास विभाग का संगठन एवं अधीनस्थ कार्यालय
- ग्रामीण विकास विभाग में प्रारंभ से विभागाध्यक्ष एवं शासन स्तर का एकल स्वरूप विद्यमान है। ग्रामीण विकास विभाग में विकास आयुक्त पदेन अपर मुख्य सचिव, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग है । सचिव, ग्रामीण विकास पदेन अपर विकास आयुक्त है।
- विभाग में विभागाध्यक्ष विकास आयुक्त हैं।
पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग युक्त कार्यालय में केन्द्र प्रवर्तित विभिन्न योजनायें
- महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी स्कीम,
- म.प्र. ग्रामीण आजीविका मिशन, स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण),
- प्रधानमंत्री आवास योजन ( ग्रामीण),
- मध्यान्ह भोजन कार्यक्रम राज्य प्रवर्तित
- मुख्यमंत्री अंत्योदय आवास मिशन का क्रियान्वयन एवं पर्यवेक्षण सुनिश्चित किया जाता है।
- पंचायत संचालनालय में त्रिस्तरीय पंचायतीराज से संबंधित कार्य किया जाता है।
ग्रामीण यांत्रिकी सेवा के बारे में
- पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के तकनीकी प्रकोष्ठ के रूप में ग्रामीण यांत्रिकी सेवा कार्यरत है।
- प्रमुख अभियंता को ग्रामीण यांत्रिकी सेवा का विभागाध्यक्ष घोषित, जिसका प्रकाशन मध्यप्रदेश के राजपत्र में भी दिनांक 22 सितम्बर, 2016 को किया गया है ।
- प्रमुख अभियंता के अंतर्गत जबलपुर, इन्दौर तथा भोपाल में कुल तीन क्षेत्रीय मुख्य अभियंता कार्यरत ।
- क्षेत्रीय मुख्य अभियंताओं के अंतर्गत प्रत्येक राजस्व संभाग में एक मण्डल कार्यालय कार्यरत है, जो अधीक्षण यंत्री के प्रभार में है। वर्तमान में 10 मण्डल कार्यालय कार्यरत हैं।
- जिलों का आकार एवं कार्यभार के अनुसार ग्रामीण यांत्रिकी सेवा में 60 संभागीय कार्यालय कार्यरत हैं, जिनका कार्य संपादन कार्यपालनयंत्रियों द्वारा किया जा रहा है।
- जनपद पंचायतों एवं ग्रामीण यांत्रिकी सेवा को मिलाकर 1459 उपयंत्रियों के पद निर्मित हैं ।
पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की नीति
1. राजीव
गांधी जलग्रहण क्षेत्र प्रबंधन मिशन
2. सूखा
प्रवण क्षेत्र कार्यक्रम
3. एकीकृत
पड़त भूमि विकास कार्यक्रम
4. सुनिशचित
रोजगार आशश्वासन योजना
5. स्वर्णजयंती
ग्राम स्वरोजगार योजना
6. सम्पूर्ण
ग्रामीण रोजगार योजना
7. इंदिरा
गाँधी गरीबी हटाओ योजना
8. प्रधानमंत्री
ग्रामोदय ग्रामीण आवास योजना
9. ग्रामीण
आवास एवं बसाहट विकास की अभिनव धारा
10. प्रधानमंत्री
ग्राम सड़क योजना
11. जिला
ग्रामीण विकास अभिकरण प्रशासन योजना
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