हिंदी पत्रकारिता दिवस 2024 : कब क्यों इतिहास महत्व | Hindi Journalism Day 2024
हिंदी पत्रकारिता दिवस 2024 : कब क्यों इतिहास महत्व (Hindi Journalism Day 2024 )
हिंदी पत्रकारिता दिवस 2024 : कब क्यों इतिहास महत्व
- देश भर में प्रत्येक वर्ष 30 मई को ‘हिंदी पत्रकारिता दिवस’ मनाया जाता है। यह दिवस भारतीय पत्रकारों खासतौर पर हिंदी भाषी पत्रकारों के लिये काफी महत्त्वपूर्ण है, साथ ही यह दिवस समाज के विकास में पत्रकारों के योगदान और पारदर्शिता तथा उत्तरदायित्त्व निर्धारण में उनकी भूमिका को रेखांकित करता है।
- 30 मई, 1826 में पंडित युगल किशोर शुक्ल ने हिंदी के प्रथम समाचार पत्र ‘उदंत मार्तण्ड' के प्रकाशन का शुभारंभ किया था। ‘उदंत मार्तण्ड’ का शाब्दिक अर्थ है ‘समाचार-सूर्य‘। ‘उदंत मार्तण्ड' का प्रकाशन प्रत्येक सप्ताह मंगलवार को किया जाता था। पुस्तकाकार में छपने वाले ‘उदंत मार्तण्ड' के केवल 79 अंक ही प्रकाशित हो सके और दिसंबर, 1827 में वित्तीय संसाधनों के अभाव में इसका प्रकाशन बंद हो गया। इस समाचार पत्र में ब्रज और खड़ी बोली दोनों भाषाओं के मिश्रित रूप का प्रयोग किया जाता था, जिसे इस पत्र के संचालक ‘मध्यदेशीय भाषा’ कहते थे। कानपुर के रहने वाले पंडित युगल किशोर शुक्ल पेशे से एक वकील थे और औपनिवेशिक ब्रिटिश भारत में कलकत्ता में वकील के तौर पर कार्य कर रहे थे। इतिहासकार पंडित युगल किशोर शुक्ल को भारतीय पत्रकारिता का जनक मानते हैं। वहीं बंगाल से हिंदी पत्रकारिता की शुरुआत का श्रेय राजा राममोहन राय को दिया जाता है। हिंदी पत्रकारिता ने इतिहास में एक लंबा सफर तय किया है। 1826 ई. में पंडित युगल किशोर शुक्ल ने जब पत्रकारिता की शुरुआत की थी, तब यह कल्पना करना मुश्किल था कि भारत में पत्रकारिता भविष्य में इतना लंबा सफर तय करेगी।
Also Read......
मीडिया के लिए लेखन, संपादकीय लेखन
रेडियो समाचार कैसे लिखा जाता है?
टेलीविजन (टीवी) समाचार कैसे लिखा जाता है?
समाचार की अवधारणा,समाचार के तत्त्व
समाचार लेखन क्या है? समाचार लेखन के प्रकार
समाचार लेखन के चरण , आमुख (इंट्रो या लीड) और आमुख के प्रकार
समाचारों का वर्गीकरण, समाचार कितने प्रकार होते हैं
समाचारपत्र की अवधारणा परिभाषा समाचारपत्र किसे कहते हैं? समाचारपत्र का स्वरूप
समाचारपत्र लेखन : संपादकीय क्या है? प्रकार विशेषताएँ एवं लेखन प्रक्रिया
Post a Comment