दुनिया भर में रोगी
सुरक्षा के बारे में वैश्विक जागरूकता बढ़ाने और स्वास्थ्य देखभाल के प्रति आम
जनमानस की प्रतिबद्धता को मज़बूत करने हेतु प्रतिवर्ष 17 सितंबर को ‘विश्व रोगी सुरक्षा दिवस’ का आयोजन किया जाता है।
‘विश्व रोगी सुरक्षा दिवस’ रोगी सुरक्षा पर वार्षिक
वैश्विक मंत्रिस्तरीय शिखर सम्मेलन की एक शृंखला की आधारशिला है जो वर्ष 2016 में
लंदन में शुरू हुई थी। विश्व स्वास्थ्य
संगठन के आँकड़ों के मुताबिक, प्रतिदिन लगभग 810 महिलाओं की मृत्यु गर्भावस्था एवं प्रसव
संबंधी परिहार्य कारणों से हो जाती है। इसके अलावा, स्वास्थ्य देखभाल की कमी के कारण प्रतिदिन पाँच
वर्ष से कम उम्र के लगभग 6700 शिशुओं की मृत्यु होती है, जो कि कुल मौतों का 47
प्रतिशत है। इस दिवस का लक्ष्य प्रसव एवं प्रसव के दौरान सभी महिलाओं तथा नवजात
शिशुओं को होने वाले अनावश्यक जोखिम एवं क्षति को कम करना है, साथ ही यह गुणवत्तापूर्ण
सेवाओं के प्रावधान की भी वकालत करता है।
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