अगस्त 2021 समसामयिकी सार | August 2021 Current Affair Summary in Hindi
अगस्त 2021 समसामयिकी सार
August 2021 Current Affair Summary in Hindi
देश का पहला 'वाटर प्लस' शहर इंदौर
- भारत के सबसे स्वच्छ शहर इंदौर को ‘स्वच्छ सर्वेक्षण-2021’ के तहत देश का पहला 'वाटर प्लस' शहर घोषित किया गया है। स्वच्छ सर्वेक्षण ‘स्वच्छ भारत मिशन’ के हिस्से के रूप में देश भर के शहरों और कस्बों में स्वच्छता, आरोग्यता व साफ-सफाई का एक वार्षिक सर्वेक्षण है। गौरतलब है कि सर्वेक्षण के मुताबिक, शहर के 30 प्रतिशत सीवेज जल का पुनर्चक्रण एवं पुन: उपयोग किया जा रहा है।
- शहर में ‘पुनर्चक्रित’ जल का उपयोग आम लोगों द्वारा अपने बगीचों और निर्माण स्थलों में किया जा रहा है। इसके अलावा शहर में कुल सात सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट स्थापित किये गए हैं तथा उनमें प्रतिदिन लगभग 110 मिलियन लीटर जल का उपचार किया जाता है।
- स्वच्छ सर्वेक्षण के ‘वाटर प्लस’ प्रोटोकॉल के दिशा-निर्देशों के अनुसार, इंदौर नगर निगम द्वारा 1,746 सार्वजनिक और 5,624 घरेलू सीवरों को 25 छोटे व बड़े नालों से जोड़ा गया है, इससे शहर की कान्ह और सरस्वती नदियों को सीवर लाइनों से मुक्त कर दिया गया है।
- ज्ञात हो कि देश में सर्वप्रथम 'वाटर प्लस' का टैग पाने के अलावा इंदौर को लगातार चौथी बार भारत का सबसे स्वच्छ शहर घोषित किया गया है।
‘आत्मनिर्भर एजेंट्स न्यू बिज़नेस डिजिटल एप्लीकेशन
- भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) ने संभावित ग्राहकों को जोड़ने के लिये अपने एजेंटों और मध्यस्थों के लिये एक मोबाइल एप लॉन्च किया है।
- यह एप ‘आत्मनिर्भर एजेंट्स न्यू बिज़नेस डिजिटल एप्लीकेशन’ का नवीनतम आयाम है, जिसे ‘भारतीय जीवन बीमा निगम’ द्वारा नई व्यावसायिक प्रक्रियाओं हेतु पेपरलेस समाधान के रूप में बीते वर्ष लॉन्च किया गया था।
- भारतीय जीवन बीमा निगम के मुताबिक, यह डिजिटल एप्लीकेशन एजेंट/मध्यस्थ की मदद से कागज़ रहित बीमा पॉलिसी प्रदान करने में एक महत्त्वपूर्ण उपकरण के तौर पर काम करेगा। इस मोबाइल एप में डिजिटल एप्लीकेशन की सभी विशेषताएँ मौजूद हैं।
- गौरतलब है कि यह मोबाइल एप्लीकेशन भारतीय जीवन बीमा निगम के डिजिटलीकरण की दिशा में एक महत्त्वपूर्ण कदम है।
- यह भारत की सबसे बड़ी जीवन बीमा कंपनी है तथा देश की सबसे बड़ी निवेशक कंपनी भी है। इसकी स्थापना वर्ष 1956 में भारतीय संसद द्वारा भारतीय जीवन बीमा अधिनियम के माध्यम से की गई थी और इसका मुख्यालय मुंबई में स्थित है।
'मिशन वात्सल्य- महाराष्ट्र में विधवा महिलाओं के लिये विशेष मिशन
- महाराष्ट्र सरकार ने हाल ही में उन गरीब परिवारों की महिलाओं के लिये एक विशेष मिशन शुरू किया है, जिन्होंने कोविड-19 संक्रमण के कारण अपने पति को खो दिया है। इस विशेष मिशन का उद्देश्य ऐसी महिलाओं को एक ही छत के नीचे तमाम तरह की सेवाएँ प्रदान करना है।
- 'मिशन वात्सल्य' नामक यह कार्यक्रम विधवा महिलाओं, विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों, गरीब पृष्ठभूमि और वंचित वर्गों से आने वाली महिलाओं के लिये डिज़ाइन किया गया है। ज्ञात हो कि परिवार में इकलौते कमाने वाले की मृत्यु के कारण ऐसी महिलाओं के लिये चुनौती और अधिक बढ़ गई है।
- ऐसे में इन सभी पहलुओं को ध्यान में रखते हुए विधवाओं को एक छत के नीचे 18 लाभ, योजनाएँ और सेवाएँ प्रदान की जाएंगी। इसके तहत महिलाओं के लिये ‘संजय गांधी निराधार योजना’, ‘घरकुल योजना’ जैसी कई योजनाएँ शामिल हैं। इस मिशन को राज्य के ‘महिला बाल विकास’ मंत्रालय द्वारा क्रियान्वित किया जाएगा। राज्य सरकार द्वारा उपलब्ध आँकड़ों के मुताबिक, बीते 18 महीनों में कोविड-19 के कारण 15 हज़ार से अधिक महिलाओं ने अपने पति खो दिये हैं। इसमें से कुल 14,661 महिलाओं को ‘ज़िला टास्क फोर्स’ द्वारा सूचीबद्ध किया गया है।
विश्व बैंक ने अफगानिस्तान को दी जाने वाली
सहायता रोकी
- विश्व बैंक ने तालिबान के शासन के तहत अफगानिस्तान के विकास की संभावनाओं और महिलाओं के अधिकारों से संबंधित चिंताओं के मद्देनज़र अफगानिस्तान को दी जाने वाली वित्तीय सहायता पर रोक लगा दी है।
- ज्ञात हो कि ‘विश्व बैंक’ वर्तमान में अफगानिस्तान में दो दर्जन से अधिक विकास परियोजनाएँ संचालित कर रहा है और वर्ष 2002 से अब तक इसने अफगानिस्तान को अनुदान के रूप में कुल 5.3 बिलियन डॉलर प्रदान किये हैं। इसके अलावा ‘अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष’ (IMF) ने भी अफगानिस्तान के साथ परिचालन को निलंबित कर दिया है, जिसमें मौजूदा 370 मिलियन डॉलर ऋण कार्यक्रम भी शामिल था।
- अमेरिका ने भी पिछले सप्ताह देश के केंद्रीय बैंक ‘दा अफगानिस्तान बैंक’ (DAB) द्वारा अमेरिकी खातों में रखी अरबों डॉलर की संपत्ति को ज़ब्त कर लिया था। अफगानिस्तान के इस केंद्रीय बैंक के पास कुल 9.5 अरब डॉलर की संपत्ति है, जो अधिकांशतः अफगानिस्तान के बाहर स्थित है।
'बी इंटरनेट ऑसम' कार्यक्रम
- दिग्गज इंटनेट कंपनी ‘गूगल’ ने भारतीय कॉमिक बुक प्रकाशक ‘अमर चित्र कथा’ के साथ साझेदारी में भारतीय बच्चों के लिये अपना वैश्विक 'बी इंटरनेट ऑसम' कार्यक्रम लॉन्च किया है। गूगल ने उपयोगकर्त्ताओं, खासतौर पर बच्चों के बीच इंटरनेट सुरक्षा बढ़ाने के अपने प्रयासों के तहत आठ भारतीय भाषाओं में इस कार्यक्रम को लॉन्च किया है।
- यह कार्यक्रम गूगल इंडिया को इंटरनेट पर गलत सूचना, धोखाधड़ी, बाल सुरक्षा संबंधी खतरों, हिंसक उग्रवाद, फिशिंग हमलों और मालवेयर जैसे खतरों का मुकाबला करने में मदद करेगा। इस कार्यक्रम का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि बच्चे इंटरनेट के माध्यम से सुरक्षित रूप से सीख सकें। इस कार्यक्रम के माध्यम से गूगल का लक्ष्य इंटरनेट पर कंपनी और उपयोगकर्त्ताओं के बीच विश्वास की नींव की स्थापना करना है।
स्टॉकहोम वर्ल्ड वाटर वीक
- ‘स्टॉकहोम इंटरनेशनल वाटर इंस्टीट्यूट’ द्वारा 23 अगस्त से 27 अगस्त के बीच ‘वर्ल्ड वाटर वीक’ का आयोजन किया गया।
- ‘स्टॉकहोम वर्ल्ड वाटर वीक’ की स्थापना वर्ष 1991 में ‘स्टॉकहोम इंटरनेशनल वाटर इंस्टीट्यूट’ (SIWI) द्वारा की गई थी। यह पाँच दिवसीय आयोजन वर्तमान में दुनिया का सबसे अग्रणी जल सम्मेलन है, जो मुख्य तौर पर जल, विकास और स्थिरता एवं अंतर्राष्ट्रीय विकास से संबंधित चिंताओं को संबोधित करने का प्रयास करता है।
- इस कार्यक्रम में 130 से अधिक देशों के छात्र, व्यावसायिक प्रमुख, राजनेता, गैर-सरकारी संगठन, शोधकर्त्ता, अंतर-सरकारी संगठन और कई अन्य लोग शामिल होते हैं। इस कार्यक्रम का उद्देश्य एक स्वतंत्र एवं गतिशील मंच के माध्यम से विज्ञान, नीति और निर्णय लेने की प्रक्रिया का एकीकरण करना है। प्रतिवर्ष ‘वर्ल्ड वाटर वीक’ एक अलग विषय पर ध्यान केंद्रित करता है।
- वर्ष 2021 की थीम ‘बिल्डिंग रेज़िलिएशन फास्टर’ है, जो जल की कमी, खाद्य असुरक्षा और कोविड-19 महामारी के प्रभाव जैसी मौजूदा चुनौतियों के साथ-साथ जलवायु संकट के मुद्दे को संबोधित करती है। ज्ञात हो कि भारत की ओर से ‘सूरत नगर निगम’ एकमात्र ऐसा नागरिक निकाय था, जिसे ‘ज़ीरो लिक्विड डिस्चार्ज सिटीज़’ विषय पर पैनल चर्चा में आमंत्रित किया गया था।
‘इंडियासाइज़’ सर्वेक्षण
- कपड़ा मंत्रालय (भारत सरकार) के तत्त्वावधान में नई दिल्ली स्थित ‘राष्ट्रीय फैशन प्रौद्योगिकी संस्थान’ (NIFT) द्वारा भारतीय नागरिकों के लिये शरीर आकार चार्ट विकसित करने हेतु एक व्यापक मानवशास्त्रीय अनुसंधान किया जा रहा है।
- ‘इंडियासाइज़’ सर्वेक्षण का उद्देश्य रेडी-टू-वियर कपड़ों के क्षेत्र में भारत के लिये एक नया मानकीकृत आकार चार्ट पेश करना है। यद्यपि इस परियोजना की घोषणा फरवरी 2019 में की गई थी, किंतु महामारी के कारण इसमें देरी हुई। यह अनुसंधान कार्य वर्ष 2022 के अंत तक पूरा हो जाएगा।
- इस सर्वेक्षण में विभिन्न आयु समूहों, आय वर्ग और विभिन्न जातियों के प्रतिभागी शामिल होंगे। इस सर्वेक्षण में एक सुरक्षित ‘3D होल बॉडी स्कैनर’ तकनीक का उपयोग किया जा रहा है। यह राष्ट्रीय आकार सर्वेक्षण के सभी अंतर्राष्ट्रीय प्रोटोकॉल का पालन करेगा और इस आकार का उपयोग परिधान उद्योग द्वारा किया जाएगा।
- गौरतलब है कि ‘इंडियासाइज़’ सर्वेक्षण, कपड़ा मंत्रालय की एक व्यापक ‘फाइबर-टू-फैशन’ पहल का हिस्सा है। कपड़ा क्षेत्र भारत में दूसरा सबसे बड़ा नियोक्ता है और प्रतिवर्ष लगभग 140 अरब रुपए का व्यापार करता है, जिसमें से 100 अरब रुपए अकेले भारतीय उपभोक्ताओं से, जबकि 40 अरब रुपए निर्यात से प्राप्त किया जाता है।
अल्जीरिया और मोरक्को के बीच राजनयिक संबंध समाप्त
- हाल ही में अल्जीरिया ने शत्रुतापूर्ण कार्य का हवाला देते हुए मोरक्को के साथ अपने सभी राजनयिक संबंधों को समाप्त कर दिया है, इसी के साथ 1970 के दशक के बाद से उत्तरी अफ्रीकी पड़ोसियों के बीच राजनीतिक संबंध सबसे न्यूनतम स्तर पर पहुँच गए हैं।
- यद्यपि वर्ष 1994 से दो उत्तरी अफ्रीकी देशों (अल्जीरिया और मोरक्को) के बीच की सीमा पूर्णतः बंद थी, किंतु वर्ष 1988 में दोनों देशों के संबंध बहाल किये गए थे, जो अब तक जारी थे।
- अल्जीरिया को अफ्रीका और यूरोप के बीच प्रवेश द्वार माना जाता है और यह पिछली आधी सदी से हिंसा से त्रस्त रहा है। सहारा रेगिस्तान, अल्जीरिया के 80 प्रतिशत हिस्से को कवर करता है।
- ‘अल्जीरिया’ अफ्रीका महाद्वीप का सबसे बड़ा देश है और दुनिया का 10वाँ सबसे बड़ा देश है। अल्जीरिया उन तीन देशों में सबसे बड़ा है, जो उत्तर पश्चिमी अफ्रीका के ‘माघरेब क्षेत्र’ का निर्माण करते हैं। वहीं मोरक्को, उत्तरी अफ्रीका में स्थित एक देश है जिसकी आबादी लगभग 34 मिलियन है। यह पूर्व में अल्जीरिया और दक्षिण में पश्चिमी सहारा के साथ अपनी सीमा साझा करता है।
क्यूबा में ‘क्रिप्टोकरेंसी’ को मान्यता
- क्यूबा की सरकार ने हाल ही में भुगतान के लिये ‘क्रिप्टोकरेंसी’ को मान्यता देने और विनियमित करने का निर्णय लिया है। आधिकारिक राजपत्र में प्रकाशित एक प्रस्ताव के मुताबिक, क्यूबा का केंद्रीय बैंक ऐसी मुद्राओं के लिये जल्द ही नियम निर्धारित करेगा और यह भी निर्धारित किया जाएगा कि क्यूबा के भीतर संबंधित सेवाओं प्रदाताओं को किस प्रकार लाइसेंस प्रदान किया जाएगा।
- ज्ञात हो कि क्यूबा में इस प्रकार की मुद्राओं की लोकप्रियता काफी बढ़ गई है, क्योंकि पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के शासन के तहत लगाए गए कड़े प्रतिबंध नियमों के कारण क्यूबा में डॉलर का उपयोग करना कठिन हो गया है।
- इसके अलावा मध्य अमेरिकी देश ‘अल सल्वाडोर’ ने भी विदेशों में रहने वाले अपने नागरिकों से प्रेषण प्राप्त करने के तरीके के रूप में क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन के उपयोग को मान्यता देने की घोषणा की थी।
‘क्यूसिम’ क्वांटम सिम्युलेटर
- हाल ही में भारत सरकार ने ‘क्यूसिम’ (QSim) नाम से एक क्वांटम कंप्यूटर सिम्युलेटर टूलकिट को लॉन्च किया है। ‘
- क्वांटम सिमुलेटर’ का आशय ऐसे उपकरणों से है, जो वैज्ञानिकों को क्वांटम प्रभावों का अध्ययन करने की अनुमति प्रदान करते हैं, अन्यथा इनका एक प्रयोगशाला में अध्ययन करना काफी चुनौतीपूर्ण होता है।
- इसका उद्देश्य शोधकर्त्ताओं और छात्रों को क्वांटम कंप्यूटिंग में लागत प्रभावी तरीके से अनुसंधान करने में सक्षम बनाना है।
- ‘क्यूसिम’ सिम्युलेटर का विकास ‘क्वांटम कंप्यूटर टूलकिट (सिम्युलेटर, वर्कबेंच) और क्षमता निर्माण हेतु डिज़ाइन एवं विकास’ परियोजना का परिणाम है। यह सिम्युलेटर भारत में क्वांटम कम्प्यूटिंग अनुसंधान को आगे बढ़ाने की आम चुनौतियों का समाधान निकालने की दिशा में देश की प्रथम पहलों में से एक है।
- यह परियोजना भारत सरकार के इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के सहयोग से आईआईएससी बंगलूरू, आईआईटी-रुड़की और सी-डेक के समन्वय से निष्पादित की जा रही है। ‘क्यूसिम’ टूलकिट शोधकर्त्ताओं और छात्रों को क्वांटम कोड लिखने और डी-बग करने की अनुमति प्रदान करती है, जो क्वांटम एल्गोरिदम विकसित करने के लिये आवश्यक है।
‘देश के मेंटर’ कार्यक्रम
- बॉलीवुड अभिनेता सोनू सूद को हाल ही में दिल्ली सरकार के ‘देश के मेंटर’ कार्यक्रम के ब्रांड एंबेसडर के रूप में नियुक्त किया गया है। जल्द ही लॉन्च होने वाले इस कार्यक्रम में देश भर के नागरिक और दिल्ली के सरकारी स्कूल के बच्चे शामिल होंगे।
- अभी तक इस कार्यक्रम को दिल्ली में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर क्रियान्वित किया जा रहा था। इसके तहत हिस्सा लेने वाले नागरिक दिल्ली के सरकारी स्कूलों के अधिकतम 10 छात्रों को ‘अडॉप्ट’ करेंगे और उन्हें संबंधित क्षेत्र में मार्गदर्शन प्रदान करेंगे। छात्रों को फोन के माध्यम से मार्गदर्शन प्रदान करने हेतु सभी ‘मेंटर्स’ प्रति सप्ताह 10 मिनट का समय निकालेंगे।
- इस कार्यक्रम का लक्ष्य कम-से-कम 10 लाख बच्चों और 3 लाख कामकाजी पेशेवरों तक पहुँच बनाना है। इस कार्यक्रम का लक्ष्य दिल्ली में शिक्षा को जन आंदोलन के रूप में विकसित करना है।
महायोगी गुरु गोरक्षनाथ उत्तर प्रदेश राज्य आयुष’ विश्वविद्यालय
- राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने हाल ही में गोरखपुर ज़िले के पिपरी-तरकुलहा गाँव में उत्तर प्रदेश के पहले ‘आयुष विश्वविद्यालय’ की आधारशिला रखी है। इस आयुष विश्वविद्यालय को ‘महायोगी गुरु गोरक्षनाथ उत्तर प्रदेश राज्य आयुष’ विश्वविद्यालय के नाम से जाना जाएगा।
- राज्य व सरकार ने आयुष विश्वुविद्यालय के निर्माण का काम पूरा करने की समय-सीमा वर्ष 2023 तय की है। 52 एकड़ में फैले इस विश्वाविद्यालय में आयुर्वेद, यूनानी, होम्योअपैथी और योग संबंधी चिकित्साम सुविधाएँ उपलब्धय रहेंगी। इसका बजट 299 करोड़ रुपए निर्धारित किया गया है।
- आयुष के क्षेत्र में अनुसंधान की दृष्टि से यह विश्व विद्यालय काफी महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा करेगा। राज्य के 98 आयुष कॉलेज इस विश्वमविद्यालय से संबद्ध होंगे। ज्ञात हो कि गोरखपुर में पहले से ही एक मेडिकल कॉलेज मौजूद है और जल्द ही यहाँ एक ‘एम्सय’ का उद्घाटन किया जाएगा।
बुद्धदेब गुहा
‘मधुकरी’ जैसी कई उल्लेखनीय रचनाओं के रचयिता प्रख्यात बांग्ला लेखक ‘बुद्धदेब गुहा’ का हाल ही में 85 वर्ष की उम्र में निधन हो गया है। प्रधानमंत्री ने बुद्धदेब गुहा के निधन पर शोक व्यक्त किया है। 29 जून, 1936 को कलकत्ता में जन्मे बुद्धदेब गुहा ने अपना बचपन मुख्यतः पूर्वी बंगाल (अब बांग्लादेश) के रंगपुर और बारीसाल ज़िलों में बिताया था।
फिट इंडिया मोबाइल एप
- हाल ही में केंद्रीय खेल मंत्री ने ‘राष्ट्रीय खेल दिवस’ के अवसर पर ‘फिट इंडिया मोबाइल एप’ का शुभारंभ किया है।
- फिट इंडिया एप एंड्रॉइड और आईओएस दोनों प्लेटफॉर्म पर अंग्रेज़ी एवं हिंदी में निःशुल्क उपलब्ध है।
- ‘फिट इंडिया मोबाइल एप’ प्रत्येक भारतीय को मोबाइल के माध्यम से फिटनेस स्तर की जाँच करने की सुविधा प्रदान करता है।
- इस एप में फिटनेस स्कोर, एनिमेटेड वीडियो, गतिविधि ट्रैकर्स और व्यक्तिगत विशिष्ट ज़रूरतों को पूरा करने संबंधी अनूठी विशेषताएँ हैं। साथ ही एप्लीकेशन की ‘एक्टिविटी ट्रैकर’ सुविधा दैनिक गतिविधि पर नज़र रखने में मदद करती है।
- वास्तविक समय पर स्टेप ट्रैकर व्यक्तियों को उनके दैनिक कार्यों की जानकारी प्राप्त करने में मदद करता है और उन्हें उच्च लक्ष्य निर्धारित करने के लिये प्रोत्साहित करता है। यह एप व्यक्तियों को दैनिक स्तर पर जल की मात्रा, कैलोरी मात्रा और नींद के घंटों की भी निगरानी रखने में मदद करता है।
- ध्यातव्य है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 29 अगस्त, 2019 को ‘राष्ट्रीय खेल दिवस’ के अवसर पर ‘फिट इंडिया मूवमेंट’ की शुरुआत की थी, जिसका उद्देश्य फिटनेस को प्रत्येक भारतीय के जीवन का अभिन्न अंग बनाना था।
लोकमान्य तिलक राष्ट्रीय पुरस्कार
- प्रसिद्ध व्यवसायी और पुणे स्थित ‘सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया’ के संस्थापक-अध्यक्ष साइरस पूनावाला को वर्ष 2021 के लिये प्रतिष्ठित ‘लोकमान्य तिलक राष्ट्रीय पुरस्कार’ हेतु चुना गया है।
- साइरस पूनावाला को कोरोनो वायरस महामारी के दौरान उनके कार्य और सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की महत्त्वपूर्ण भूमिका के लिये सम्मानित किया जाएगा, जहाँ व्यापक स्तर पर कोविशील्ड वैक्सीन का निर्माण किया जा रहा है।
- ध्यातव्य है कि साइरस पूनावाला और उनकी कंपनी ने सस्ती कीमतों पर अलग-अलग टीके उपलब्ध कराने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है। ‘
- लोकमान्य तिलक राष्ट्रीय पुरस्कार’ को वर्ष 1983 में पूर्ण स्वतंत्रता या स्वराज्य (स्व-शासन) के सबसे प्रारंभिक एवं सबसे मुखर प्रस्तावकों में से एक लोकमान्य बाल गंगाधर तिलक के सम्मान में स्थापित किया गया था। इस पुरस्कार में एक लाख रुपए का नकद पुरस्कार और प्राप्तकर्त्ता के लिये एक स्मृति चिह्न शामिल है। इसके प्राप्तकर्त्ताओं में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी, अटल बिहारी वाजपेयी और डॉ. मनमोहन सिंह, पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और इंफोसिस के संस्थापक एन.आर. नारायण मूर्ति शामिल हैं। साइरस पूनावाला का जन्म वर्ष 1941 में हुआ और वर्ष 1966 में उन्होंने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की स्थापना की।
तेंदुओं की डीएनए प्रोफाइलिंग
- ओडिशा के ‘वन और पर्यावरण विभाग’ के वन्यजीव संगठन ने राज्य में तेंदुओं की डीएनए प्रोफाइलिंग करने का निर्णय किया है। तेंदुओं की यह डीएनए प्रोफाइलिंग ओडिशा यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर एंड टेक्नोलॉजी (OUAT) के सेंटर फॉर वाइल्डलाइफ हेल्थ (CWH) के सहयोग से की जाएगी।
- इस पहल के हिस्से के रूप में उन क्षेत्रों की पहचान की जाएगी, जहाँ तेंदुए पाए जाते हैं। इन क्षेत्रों से उनके नमूने एकत्र किये जाएंगे, जिन्हें डीएनए प्रोफाइलिंग के लिये सेंटर फॉर वाइल्डलाइफ हेल्थ में भेजा जाएगा।
- यह पहल शिकारियों और व्यापारियों से ज़ब्त किये गए जानवरों की त्वचा और अन्य अंगों के अवशेषों के माध्यम से तेंदुओं के बारे में जानने में मदद करेगी। यह प्रणाली वन्यजीव अपराधों, विशेष रूप से तेंदुओं के अवैध शिकार के विरुद्ध लड़ाई में सहायक होगी।
- वर्ष 2018 तक ओडिशा में तेंदुओं की आबादी लगभग 760 थी। तेंदुओं को वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 के तहत अनुसूची-I में शामिल किया गया है।
कोविड-19 के खिलाफ शत-प्रतिशत टीकाकरण वाला देश
का पहला शहर भुवनेश्वर
- ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर भारत का ऐसा पहला शहर बन गया है, जिसने कोविड-19 के खिलाफ शत-प्रतिशत टीकाकरण किया है। इसके अतिरिक्त लगभग एक लाख प्रवासी कामगारों को भी राजधानी शहर में कोविड वैक्सीन की पहली खुराक दी गई है।
- भुवनेश्वर नगर निगम ने 31 जुलाई, 2021 तक विशिष्ट समय-सीमा के भीतर टीकाकरण प्रक्रिया को पूरा करने के लिये विभिन्न श्रेणियों के लोगों के लिये मानक निर्धारित किये थे। टीका लगाने वालों में 18 वर्ष और उससे अधिक आयु के लगभग 9 लाख लोग शामिल हैं। ओडिशा सरकार ने प्रतिदिन कुल 3.5 लाख लोगों का टीकाकरण करने के लिये ज़िलेवार लक्ष्य निर्धारित किये थे।
भारत बायोटेक की रोटावायरस वैक्सीन को WHO से 'प्रीक्वालिफिकेशन मंज़ूरी'
- भारत बायोटेक इंटरनेशनल लिमिटेड (Bharat Biotech International Ltd.) ने सोमवार को घोषणा की कि रोटावैक 5डी (Rotavac 5D- रोटावैक वैक्सीन का एक प्रकार) को विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) से “प्रीक्वालिफिकेशन मंज़ूरी” प्राप्त हुई है।
- Rotavac 5D का प्रयोग रोटावायरस इन्फेक्शन की रोकथाम के लिये किया जाता है, जो शिशुओं और छोटे बच्चों में होने वाली एक सामान्य बीमारी है।
- Rotavac के नए वैरिएंट, Rotavac 5D एक अनूठा रोटावायरस वैक्सीन फॉर्मूलेशन है, जिसे बिना किसी बफर के दिया जा सकता है। वैक्सीन की कम खुराक की मात्रा (0.5 ML) इसके लॉजिस्टिक, कोल्ड चेन मैनेजमेंट को आसान बनाती है और वैक्सीन लगाने के बाद इससे काफी कम मात्रा में बॉयो वेस्ट निकलता है।
बीमा अधिनियम में संशोधन के लिये लोकसभा में विधेयक पारित
- केंद्र को देश की चार सरकारी साधारण बीमा कंपनियों में से किसी एक की हिस्सेदारी निजी क्षेत्र को बेचने के लिये लोकसभा की हरी झंडी मिल गई। लोकसभा ने साधारण बीमा व्यवसाय (राष्ट्रीयकरण) संशोधन विधेयक 2021 को ध्वनिमत से पारित कर दिया।
- इसके अलावा अध्यादेश से जुड़ा एक बिल भी प्रस्तुत किया गया। वित्तमंत्री ने आम बजट में सार्वजनिक क्षेत्र के दो बैंक और एक साधारण बीमा कंपनी में कम-से-कम 51 फीसदी हिस्सेदारी के प्रावधान को खत्म करने का बड़ा ऐलान किया था।
- लोकसभा से पास हुए बिल में इसके प्रावधान हैं। इस विधेयक का उद्देश्य सार्वजनिक क्षेत्र के साधारण बीमा कंपनियों को भारतीय बाज़ार से संसाधन उपलब्ध कराना है। निजी भागीदारी बढ़ने से कंपनियाँ नई योजनाएँ लेकर आएंगी।
- वित्तमंत्री के अनुसार, पॉलिसीधारकों के हितों व सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिये ये संशोधन ज़रूरी हैं।
भारत-चीन सेना ने सिक्किम में छठी हॉटलाइन
स्थापित की
- सिक्किम में वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर किसी तरह की झड़प से बचने और विश्वास तथा सौहार्दपूर्ण संबंधों को बढ़ाने के लिये दोनों देशों की तरफ से अहम पहल हुई है।
- उत्तरी सिक्किम के कोंगरा ला में भारतीय सेना और तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र के खंबा दजोंग में चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) के बीच हॉटलाइन स्थापित की गई। एक अगस्त को PLA दिवस भी मनाया गया था।
- दोनों देशों के बीच यह छठी हॉटलाइन है। इसके साथ ही पूर्वी लद्दाख, सिक्किम और अरुणाचल प्रदेश में दोनों सेनाओं के बीच दो-दो हॉटलाइन हो गई हैं। दोनों देशों के सशस्त्र बलों के पास कमांडर स्तर पर संचार के लिये सुस्थापित तंत्र हैं।
- विभिन्न सेक्टरों में स्थापित ये हॉटलाइन संवाद को मज़बूत करने और सीमाओं पर शांति तथा सौहार्द बनाए रखने में अहम योगदान करती हैं।
- सेना के अनुसार, हॉटलाइन के उद्घाटन अवसर पर दोनों तरफ की सेनाओं के कमांडर उपस्थित थे एवं हॉटलाइन के माध्यम से मित्रता एवं सद्भाव के संदेश का अदान-प्रदान किया गया।
दिल्ली की मेडिकल ऑक्सीजन प्रोडक्शन प्रमोशन पॉलिसी
- दिल्ली सरकार ने मंगलवार को मेडिकल ऑक्सीजन प्रोडक्शन प्रमोशन पॉलिसी 2021 को मंज़ूरी दे दी, जिसका उद्देश्य मेडिकल ऑक्सीजन के उत्पादन, परिवहन और भंडारण पर निवेश करने वाले निजी उद्यमों को बिजली सब्सिडी एवं कर प्रतिपूर्ति के माध्यम से प्रोत्साहित कर भविष्य में मेडिकल इमरजेंसी के लिये मेडिकल ऑक्सीजन के उत्पादन में राजधानी दिल्ली को आत्मनिर्भर बनाना है।
- इस नीति को अप्रैल माह में कोविड-19 महामारी की दूसरी लहर के दौरान दिल्ली में मेडिकल ऑक्सीजन के गंभीर संकट के मद्देनज़र तैयार किया गया है। यह नीति भविष्य में किसी भी मेडिकल इमरजेंसी से निपटने के लिये दिल्ली को मेडिकल ऑक्सीजन के उत्पादन में आत्मनिर्भर बनाने हेतु दिल्ली सरकार के प्रयासों का हिस्सा है।
- गौरतलब है कि दिल्ली सरकार के अस्पतालों में 66 संयंत्रों में से 36 संयंत्र चालू हो चुके हैं, जबकि तीन तैयार हैं और शेष के 31 अगस्त तक चालू होने की उम्मीद है। वहीं केंद्र सरकार के अस्पतालों में 10 में से छह संयंत्र चालू हो चुके हैं तथा शेष अगस्त तक चालू हो जाएंगे।
एग्रो-ऑटोमैटिक वेदर स्टेशन
- केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने संसद को सूचित किया है कि भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने आम लोगों, विशेषकर किसानों को सटीक मौसम पूर्वानुमान प्रदान करने के लिये 200 स्थानों पर ‘एग्रो-ऑटोमैटिक वेदर स्टेशन’ (AWS) की स्थापना की है।
- ‘भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद’ (ICMR) नेटवर्क के तहत ‘कृषि विज्ञान केंद्रों’ (KVK) में स्थित ज़िला एग्रोमेट यूनिट्स (DAMUs) में 200 ‘एग्रो-ऑटोमैटिक वेदर स्टेशन’ इंस्टॉल किये गए हैं।
- इन केंद्रों की स्थापना ‘ग्रामीण कृषि मौसम सेवा’ (GKMS) योजना के तहत ब्लॉक स्तरीय ‘एग्रोमेट एडवाइज़री सर्विसेज़’ (AAS) की सहायता हेतु की गई है।
- मौसम आधारित परिचालन ‘एग्रोमेट एडवाइज़री सर्विसेज़’ (AAS) को ‘भारत मौसम विज्ञान विभाग’ द्वारा ICMR और राज्य कृषि विश्वविद्यालयों के साथ संयुक्त रूप से शुरू किया गया है।
- यह देश में कृषक समुदाय के लाभ के लिये मौसम आधारित फसल एवं पशुधन प्रबंधन रणनीतियों एवं उनके संचालन की दिशा में एक महत्त्वपूर्ण कदम है।
‘हार्पून’ ज्वाइंट कॉमन टेस्ट सेट
- अमेरिका ने ‘हार्पून’ ज्वाइंट कॉमन टेस्ट सेट (JCTS) और संबंधित उपकरणों को भारत को 82 मिलियन अमेरिकी डॉलर की अनुमानित लागत पर बेचने की मंज़ूरी दे दी है। यह निर्णय भारत और अमेरिका के द्विपक्षीय रणनीतिक संबंधों को मज़बूत करने व भारत-प्रशांत क्षेत्र में एक प्रमुख रक्षात्मक भागीदार के रूप में भारत की स्थिति में सुधार करने में मदद करेगा।
- ‘हार्पून’ मिसाइल प्रणाली को सर्वप्रथम वर्ष 1977 में तैनात किया गया था और यह एक ऑल-वेदर, ओवर-द-होराइज़न, एंटी-शिप मिसाइल सिस्टम है। इसमें सक्रिय रडार गाइडेंस के साथ एक समुद्र-स्किमिंग क्रूज़ प्रक्षेपवक्र भी मौजूद है।
- संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ भारत का यह मिलियन डॉलर का सौदा दोनों देशों के बीच संबंधों में विकास का परिणाम है, जिसकी नींव वर्ष 2016 में तब पड़ी थी, जब अमेरिका ने भारत को एक ‘प्रमुख रक्षा भागीदार’ के रूप में मान्यता दी थी।
- 82 मिलियन डॉलर की खरीद के हिस्से के रूप में भारत को एक हार्पून ज्वाइंट कॉमन टेस्ट सेट, एक रखरखाव स्टेशन; स्पेयर और मरम्मत संबंधी हिस्से, समर्थन एवं परीक्षण उपकरण; प्रकाशन व तकनीकी दस्तावेज़; कर्मियों का प्रशिक्षण आदि की सुविधा प्राप्त होगी।
आईएनएस ‘विक्रांत’
- भारतीय नौसेना ने स्वदेशी विमान वाहक आईएनएस ‘विक्रांत’ का समुद्री परीक्षण किया है। आईएनएस ‘विक्रांत’ भारत में डिज़ाइन और निर्मित पहला विमानवाहक पोत है।
- यह विमानवाहक पोत भारत के लिये सबसे शक्तिशाली समुद्री संपत्तियों में से एक है, जो घरेलू तटों से दूर यात्रा करने की नौसेना की क्षमता में बढ़ोतरी करता है।
- इसमें 30 विमानों का एक वायु घटक शामिल है, जिसमें स्वदेशी उन्नत हल्के हेलीकाप्टरों के अलावा मिग-29K लड़ाकू जेट, कामोव-31 एयरबोर्न अर्ली वार्निंग हेलीकॉप्टर तथा जल्द ही नौसेना में शामिल होने वाले MH-60R मल्टी-रोल हेलीकॉप्टर होंगे।
- इसकी अधिकतम गति तकरीबन 30 समुद्री मील (लगभग 55 किमी. प्रति घंटा) है और इसे चार गैस टर्बाइनों द्वारा संचालित किया जाएगा।
- स्वदेशी विमान वाहक एक बार में 18 समुद्री मील (32 किमी. प्रति घंटे) की गति से 7,500 समुद्री मील की दूरी तय करने में सक्षम है। इस विमान वाहक पर हथियारों के रूप में बराक एलआर एसएएम और एके-630 शामिल हैं, साथ ही इसमें सेंसर के रूप में एमएफएसटीएआर एवं आरएएन-40 एल 3डी रडार शामिल हैं। इस पोत में ‘शक्ति’ नाम का इलेक्ट्रॉनिक वारफेयर सूट भी मौजूद है।
लक्षद्वीप में वाटर विला परियोजना
- लक्षद्वीप में जल्द ही तीन प्रीमियम मालदीव-शैली के वाटर विला विकसित किये जाएंगे। इन तीन प्रीमियम परियोजनाओं को कदमत, मिनिकॉय और सुहेली द्वीपों में विकसित किया जाएगा। इस 800 करोड़ रुपए की महत्त्वाकांक्षी परियोजनाओं के लिये वैश्विक निविदाएँ जारी की गई हैं।
- यह कदम लक्षद्वीप में पर्यटन विकास के साथ समुद्री आर्थिक विकास में भी महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा करेगा। इस परियोजना के तहत प्रयोग किये जाने वाले वैज्ञानिक दृष्टिकोण के माध्यम से यह सुनिश्चित किया जाएगा कि स्थानीय लोगों की आजीविका के अवसरों को बढ़ाने और पारिस्थितिकी तंत्र की सुरक्षा के बीच संतुलन स्थापित हो।
- नेशनल सेंटर फॉर सस्टेनेबल कोस्टल मैनेजमेंट (NCSCM) द्वारा विकसित किये जाने वाले वाटर विला के लिये प्रमुख स्थानों की पहचान की जा रही है, जिसे समग्र विकास मास्टर प्लान द्वारा और मज़बूत किया जाता है।
- यह परियोजना भारत की अपनी तरह की पहली परियोजना है, जहाँ सौर ऊर्जा से चलने वाले पर्यावरण के अनुकूल वाटर विला द्वारा विश्व स्तरीय सुविधा प्रदान की जाएगी।
‘उत्तराखंड भूकंप अलर्ट’ एप
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान-रुड़की (IIT-R) ने हाल ही में "उत्तराखंड भूकंप अलर्ट’ एप लॉन्च किया है, जो कि भारत का पहला भूकंप-पूर्व चेतावनी (EEW) मोबाइल एप है।
- यह परियोजना ‘उत्तराखंड राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण’ (USDMA) द्वारा प्रायोजित थी। यह भूकंप अलर्ट के बारे में लोगों को सूचित करने के लिये अपनी तरह का देश का पहला एप्लीकेशन है।
- यह भूकंप-पूर्व चेतावनी प्रणाली एक वास्तविक समय भूकंप सूचना प्रणाली है, जो भूकंप की शुरुआत का पता लगा सकती है और चेतावनी जारी कर सकती है। भूकंप की पूर्व चेतावनी प्रणाली का भौतिक आधार भूकंपीय तरंगों की गति है, जो फाॅॅल्ट से तनाव मुक्त होने के बाद प्रसारित होती हैं।
- पृथ्वी की सतह पर होने वाली कंपन सतही तरंगों के कारण होती है, जो प्राथमिक तरंगों की गति से लगभग आधी गति से यात्रा करती हैं और विद्युत चुंबकीय संकेतों की तुलना में बहुत धीमी होती हैं।
- भूकंप की चेतावनी जारी करने के साथ-साथ यह एप उन स्थानों को भी रिकॉर्ड करेगा, जहाँ भूकंप के दौरान लोग फँस गए हैं और इस जानकारी को आपदा प्रतिक्रिया बल को भेजेगा।
भारतीय प्राणी सर्वेक्षण
- जीव वैज्ञानिक धृति बनर्जी, 105 वर्ष पुराने ‘ज़ूलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया’ (ZSI) की निदेशक के रूप में नियुक्त होने वाली पहली महिला बन गई हैं। 51 वर्षीय वैज्ञानिक धृति बनर्जी का एक शानदार कॅरियर रहा है, जिन्होंने टैक्सोनॉमी, जूजियोग्राफी, मॉर्फोलॉजी और मॉलिक्यूलर सिस्टमैटिक्स जैसे क्षेत्रों में शोध किया है।
- इसके अलावा वह वर्ष 2012 से ‘ज़ूलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया’ के डिजिटल सीक्वेंस इंफॉर्मेशन प्रोजेक्ट की को-ऑर्डिनेटर भी रही हैं।
- ‘ज़ूलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया’ (ZSI), पर्यावरण और वन मंत्रालय के तहत एक संगठन है। समृद्ध जीवन के विभिन्न पहलुओं के बारे में जानकारी उपलब्ध कराने और अग्रणी सर्वेक्षण, अन्वेषण एवं अनुसंधान को बढ़ावा देने के उद्देश्य से ‘ज़ूलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया’ की स्थापना तत्कालीन 'ब्रिटिश भारतीय साम्राज्य' द्वारा 01 जुलाई, 1916 को की गई थी। इसका उद्भव वर्ष 1875 में कलकत्ता के भारतीय संग्रहालय में स्थित प्राणी विज्ञान अनुभाग की स्थापना के साथ ही हुआ था। इसका मुख्यालय कोलकाता में स्थित है तथा वर्तमान में इसके 16 क्षेत्रीय स्टेशन देश के विभिन्न भौगोलिक स्थानों में मौजूद हैं। यद्यपि ‘ज़ूलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया’ की स्थपाना वर्ष 1916 में हुई, किंतु प्रारंभ में यह काफी हद तक पुरुष-प्रभुत्व वाला संगठन था और इसमें महिलाओं की भर्ती वर्ष 1949 में शुरू हुई।
‘EOS-03’ पृथ्वी अवलोकन सैटेलाइट
- भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी द्वारा जियोसिंक्रोनस सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल-F10 (GSLV-F10) के माध्यम से जल्द ही पृथ्वी अवलोकन उपग्रह ‘EOS-03’ को लॉन्च किया जाएगा। ‘EOS-03’ एक अत्याधुनिक सैटेलाइट है, जिसे GSLV-F10 द्वारा जियोसिंक्रोनस ट्रांसफर ऑर्बिट में स्थापित किया जाएगा, जिसके बाद यह सैटेलाइट अपनी ऑनबोर्ड प्रणोदन प्रणाली का उपयोग कर अंतिम भूस्थिर कक्षा में पहुँच जाएगा।
- यह सैटेलाइट रोज़ाना चार से पाँच बार पूरे देश की इमेजिंग करने में सक्षम होगा। साथ ही ‘EOS-03’ बाढ़ और चक्रवात जैसी प्राकृतिक आपदाओं की वास्तविक समय में निगरानी करने में सक्षम होगा।
- प्राकृतिक आपदाओं के अलावा ‘EOS-03’ जल निकायों, फसलों, वनस्पति की स्थिति, वन आवरण परिवर्तन की निगरानी में भी सक्षम होगा। यह ‘जियोसिंक्रोनस सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल’ की 14वीं उड़ान होगी।
- ‘जियोसिंक्रोनस सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल’ (GSLV) भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) द्वारा डिज़ाइन, विकसित और संचालित एक अंतरिक्ष प्रक्षेपण यान है, जो सैटेलाइट और अन्य अंतरिक्ष वस्तुओं को अंतिम भूस्थिर कक्षा में लॉन्च करता है। GSLV, ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान (PSLV) की तुलना में भारी पेलोड ले जाने में सक्षम है।
विकेंद्रीकृत बायोमेडिकल वेस्ट इंसिनरेटर
- हाल ही में बिहार के बक्सर में एक ‘विकेंद्रीकृत बायोमेडिकल वेस्ट इंसिनरेटर’ का वर्चुअल उद्घाटन किया है। इस बायोमेडिकल वेस्ट इंसिनरेटर को जून 2020 में ‘वेस्ट-टू-वेल्थ’ मिशन द्वारा शुरू किये गए बायोमेडिकल वेस्ट ट्रीटमेंट इनोवेशन चैलेंज के माध्यम से विकसित किया गया है।
- बक्सर में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर स्थापित यह इंसिनरेटर एक पोर्टेबल मशीन है जो कपास, प्लास्टिक या इसी तरह की सामग्री के 50 किलो जैव अपशिष्ट को वेस्ट हीट रिकवरी के माध्यम से प्रबंधित करने में सक्षम है।
- वेस्ट-टू-वेल्थ’ मिशन ‘प्रधानमंत्री विज्ञान, प्रौद्योगिकी और नवाचार सलाहकार परिषद’ के नौ राष्ट्रीय मिशनों में से एक है। इस मिशन का उद्देश्य ऊर्जा उत्पन्न करने और सामग्रियों को रिसायकल करने तथा कचरे के उपचार के लिये प्रौद्योगिकियों की पहचान, विकास और तैनाती करना है।
लद्दाख में ‘इनर लाइन परमिट’ की व्यवस्था
- प्रशासन ने हाल ही में केंद्रशासित प्रदेश के अधिसूचित संरक्षित क्षेत्रों का दौरा करने के लिये घरेलू पर्यटकों सहित सभी भारतीय नागरिकों के लिये ‘इनर लाइन परमिट’ (ILP) की आवश्यकता को समाप्त कर दिया है।
- इससे पूर्व घरेलू पर्यटकों के लिये भी लद्दाख के भीतरी इलाकों में जाने से पहले अधिकारियों से ‘इनर लाइन परमिट’ (ILP) प्राप्त करना अनिवार्य था। इससे पूर्व भारतीय घरेलू पर्यटकों को केवल लेह की नुब्रा घाटी में यारमा गोंबो मठ तक ही जाने की अनुमति थी।
- इसी के साथ लद्दाख के ‘संरक्षित क्षेत्र के निवासी’ अन्य संरक्षित क्षेत्रों में ‘बिना किसी परमिट’ के जा सकते हैं। गौरतलब है कि अधिकांश संरक्षित क्षेत्र पाकिस्तान के साथ ‘नियंत्रण रेखा’ (LoC) और चीन के साथ ‘वास्तविक नियंत्रण रेखा’ (LAC) के पास स्थित हैं, जिसके कारण ये रणनीतिक रूप से काफी महत्त्वपूर्ण हो जाते हैं।
- ‘इनर लाइन परमिट’ प्रणाली की समाप्ति के साथ ही अधिक पर्यटकों को लद्दाख जाने के लिये प्रोत्साहित किया जा सकेगा, जो कि नवनिर्मित केंद्रशासित प्रदेश की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने की दृष्टि से काफी महत्त्वपूर्ण है।
दिल्ली की पहली ‘पशु डीएनए प्रयोगशाला’
- हाल ही में रोहिणी में राजधानी दिल्ली की पहली ‘पशु डीएनए प्रयोगशाला’ स्थापित की गई है। इससे पहले नमूनों को परीक्षण के लिये अन्य राज्यों में भेजा जाता था, जिसके कारण प्रायः कई बार जाँच प्रकिया में काफी देरी होती थी।
- इस प्रकार यह सुविधा दिल्ली पुलिस के लिये गोहत्या, जानवरों के अवैध व्यापार और अन्य पशु-संबंधी मामलों के समय पर निपटान में मददगार होगी। इस अत्याधुनिक फोरेंसिक लैब में जानवरों के सभी हिस्सों जैसे- रक्त और ऊतक के नमूने, बाल, दाँत, हड्डियों आदि की जाँच की सुविधा उपलब्ध होगी।
- जानवरों से संबंधित किसी भी मामले की जाँच में सबसे बड़ी चुनौती अपराध स्थल के साक्ष्य से जानवर की एक विशिष्ट प्रजाति की पहचान करना है।
- वैज्ञानिकों के लिये यह अंतर कर पाना काफी चुनौतीपूर्ण होता है कि अपराध स्थल पर एकत्रित मांस का कोई टुकड़ा, हाथी या बाघ आदि जैसे संरक्षित जानवर का है अथवा किसी गैर-संरक्षित जानवर का है।
- ऐसे में रोहिणी (दिल्ली) में स्थपित यह नई प्रयोगशाला इस चुनौती से निपटने में काफी मददगार साबित होगी।
दिल्ली के लिये ‘ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान’
- ‘दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण’ (DDMA) ने हाल ही में कोविड-19 के प्रभावी प्रबंधन के लिये ‘ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान’ (GRAP) को लागू करने का आदेश जारी किया है।
- दिल्ली के इस ‘ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान’ में मुख्यतः तीन मापदंड शामिल हैं- पॉज़िटिविटी दर, संचयी नए संक्रमण मामले और राजधानी में लॉकडाउन/अनलॉक के लिये औसत ऑक्सीजन युक्त बेडों की ऑक्यूपेंसी।
- इसके तहत रंग-कोडित अलर्ट के चार स्तर प्रस्तुत किये गए हैं।
भारत में सबसे ऊँची मोटर सड़क लद्दाख में
- केंद्रीय रक्षा मंत्रालय के अधीन कार्यरत ‘सीमा सड़क संगठन’ (BRO) ने बोलीविया के पिछले रिकॉर्ड को तोड़ते हुए भारत में सबसे ऊँची मोटर सड़क का निर्माण किया है।
- 19,300 फीट की ऊँचाई वाली यह सड़क पूर्वी लद्दाख में उमलिंगला दर्रे से होकर गुज़रती है। तकरीबन 52 किलोमीटर लंबी यह सड़क पूर्वी लद्दाख के ‘चुमुर सेक्टर’ के कई महत्त्वपूर्ण शहरों को जोड़ती है।
- इस संबंध में जारी आधिकारिक सूचना के मुताबिक, इस सड़क की ऊँचाई ‘माउंट एवरेस्ट’ के बेस कैंप से भी ज़्यादा है, ज्ञात है कि ‘माउंट एवरेस्ट’ का साउथ बेस कैंप (नेपाल) 17,598 फीट की ऊँचाई पर स्थित है, जबकि इसका नॉर्थ बेस कैंप (तिब्बत) 16,900 फीट की ऊँचाई पर मौजूद है।
- यह सड़क सियाचिन ग्लेशियर (17,700 फीट) की ऊँचाई से भी काफी अधिक है। यह सड़क लेह से चिसुमले और डेमचोक को जोड़ते हुए एक वैकल्पिक सीधा मार्ग प्रदान करती है और लद्दाख में पर्यटन को बढ़ावा देने हेतु काफी महत्त्वपूर्ण साबित हो सकती है।
- विदित हो कि ऐसे कठोर और चुनौतीपूर्ण क्षेत्रों में बुनियादी अवसंरचना का विकास बेहद कठिन होता है। सर्दियों के दौरान यहाँ तापमान -40 डिग्री तक पहुँच जाता है और इस ऊँचाई पर ऑक्सीजन का सामान्य स्तर अन्य क्षेत्र की तुलना में लगभग 50 प्रतिशत कम होता है।
'काकोरी ट्रेन षड्यंत्र' का नाम परिवर्तन
- उत्तर प्रदेश सरकार ने 'काकोरी ट्रेन षड्यंत्र' का नाम बदलकर 'काकोरी ट्रेन कार्यवाही' कर दिया है क्योंकि ‘षड्यंत्र’' शब्द भारत के स्वतंत्रता संग्राम के तहत इस घटना के अपमान की भावना को दर्शाता है। इस निर्णय के पश्चात् किसी भी आधिकारिक दस्तावेज़ में इस घटना को संदर्भित करने के लिये
- ‘काकोरी ट्रेन षड्यंत्र’ के बजाय ‘काकोरी ट्रेन कार्यवाही’ शब्द का प्रयोग किया जाएगा।
- क्रांतिकारी गतिविधियों के लिये अधिकांश धन संग्रह सरकारी संपत्ति की लूट के माध्यम से किया जाता था। उसी के अनुरूप वर्ष 1925 में ‘हिंदुस्तान रिपब्लिकन एसोसिएशन’ द्वारा काकोरी (लखनऊ) के पास काकोरी ट्रेन डकैती की गई थी।
- इस योजना को चंद्रशेखर आज़ाद, राम प्रसाद बिस्मिल, अशफाकउल्ला खान, राजेंद्र लाहिड़ी और मनमथनाथ गुप्ता ने अंजाम दिया था। वे अपने प्रयास में सफल रहे लेकिन हमले के एक महीने के भीतर हिंदुस्तान रिपब्लिकन एसोसिएशन के एक दर्जन से अधिक सदस्यों के साथ उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया और काकोरी षड्यंत्र मामले के तहत मुकदमा चलाया गया। कानूनी प्रक्रिया 18 महीने तक चली। इसमें राम प्रसाद 'बिस्मिल’, अशफाक उल्ला खान, राजेंद्र लाहिड़ी तथा रोशन सिंह को मौत की सज़ा सुनाई गई और अन्य क्रांतिकारियों को उम्रकैद की सज़ा हुई।
इंडिया इंटरनेट गवर्नेंस फोरम
- भारत के 80 करोड़ इंटरनेट उपयोगकर्त्ताओं का वैश्विक स्तर पर बेहतर प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करने के लिये सरकार ने हाल ही में संयुक्त राष्ट्र के ‘इंटरनेट गवर्नेंस फोरम’ के ‘लोकल चैप्टर’ को लॉन्च करने की घोषणा की है, जो इंटरनेट से संबंधित नीतियों पर चर्चा करने के लिये एक मंच के रूप में कार्य करेगा।
- ‘इंडिया इंटरनेट गवर्नेंस फोरम’ (IIGF) का गठन सरकार, नागरिक समाज, उद्योग और संघों के लगभग 12 सदस्यों को मिलाकर किया जाएगा और इसका नेतृत्त्व ‘नेशनल
- इंटरनेट एक्सचेंज ऑफ इंडिया’ के ‘मुख्य कार्यकारी अधिकारी’ अनिल कुमार जैन करेंगे। फोरम के अन्य सदस्यों में ‘ब्रॉडबैंड इंडिया फोरम’ के अध्यक्ष टी.वी. रामचंद्रन, ‘सेंटर फॉर डिजिटल इकाॅनमी पॉलिसी रिसर्च’ के अध्यक्ष जयजीत भट्टाचार्य और ‘सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ एडवांस्ड कंप्यूटिंग’ के पूर्व महानिदेशक रजत मूना शामिल हैं।
- गौरतलब है कि भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा ब्रॉडबैंड सब्सक्रिप्शन वाला देश है और यहाँ प्रति उपयोगकर्त्ता प्रतिमाह सबसे ज़्यादा डेटा खपत होती है। ऐसे में यह फोरम अंतर्राष्ट्रीय नीति निर्माण और हितधारक वार्ता में भारतीय आकांक्षाओं को परिलक्षित करने में महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा करेगा।
अंतर्राष्ट्रीय सैन्य खेल-2021
- भारतीय सेना का 101 सदस्यीय दल रूस में ‘अंतर्राष्ट्रीय सैन्य खेल-2021’ में हिस्सा ले रहा है। भारतीय दल आर्मी स्काउट मास्टर्स प्रतियोगिता, एल्ब्रस रिंग, पोलर स्टार, स्नाइपर फ्रंटियर और सेफ रूट गेम्स में हिस्सा लेगा, जिसमें ऊँचाई वाले इलाकों में विभिन्न अभ्यास, युद्धक इंजीनियरिंग कौशल, बर्फ में संचालन, बाधाग्रस्त इलाके में स्नाइपर कार्रवाई का प्रदर्शन किया जाएगा।
- गौरतलब है कि ‘अंतर्राष्ट्रीय सैन्य खेल’ रूस के रक्षा मंत्रालय (MoD) द्वारा आयोजित एक वार्षिक सैन्य आयोजन है।
- वर्ष 2015 में शुरू हुए इस सैन्य आयोजन में पहली बार लगभग 30 देशों ने दो सप्ताह में दर्जनों प्रतियोगिताओं में हिस्सा लिया था। इन खेलों को ‘वॉर ओलिंपिक’ के रूप में भी संदर्भित किया जाता है।
चोल सम्राट ‘राजेंद्र चोल प्रथम’
- तमिलनाडु सरकार ने हाल ही में ‘चोल वंश’ के महानतम सम्राटों में से एक ‘राजेंद्र चोल प्रथम’ की जयंती को अगले वर्ष से एक सरकारी कार्यक्रम के रूप में मनाए जाने की घोषणा की है।
- 11वीं शताब्दी के चोल सम्राट ने अपनी राजधानी को गंगईकोंडा चोलपुरम (वर्तमान अरियालुर ज़िले) में स्थानांतरित कर दिया था, जहाँ उन्होंने ‘पेरुवुदैयार मंदिर’ का निर्माण किया था। इस मंदिर को यूनेस्को द्वारा विश्व धरोहर स्थल के रूप में मान्यता दी गई है। महान राजा ‘राजेंद्र चोल प्रथम’ को भारतीय उपमहाद्वीप में कई मंदिरों के निर्माण का श्रेय दिया जाता है.
- राजेंद्र चोल प्रथम, दक्षिण भारत के महान चोल राजा ‘राजराजा चोल प्रथम’ के पुत्र थे। अपने शासनकाल के दौरान उन्होंने पहले से ही विशाल चोल साम्राज्य के प्रभाव को उत्तर में गंगा नदी के किनारे और समुद्र तक विस्तृत किया।
- राजेंद्र चोल प्रथम का राज्य क्षेत्र तटीय बर्मा, अंडमान व निकोबार द्वीप समूह, लक्षद्वीप, मालदीव तक फैला हुआ था और उन्होंने अपने जहाज़ी बेड़े के साथ आस-पास के कई द्वीपों को जीत लिया था। उन्होंने बंगाल और बिहार के पाल राजा महिपाल को भी हराया। राजेंद्र चोल प्रथम अपनी सेना को समुद्र पार कर विदेश तक ले जाने वाले पहले भारतीय राजा थे। उन्होंने ‘परकेसरी’ और ‘युद्धमल्ला’ की उपाधि धारण की थी।
‘फेसलेस ट्रांसपोर्ट सर्विस’ प्रोग्राम
- दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने हाल ही में प्रदेश के परिवहन विभाग के ‘फेसलेस ट्रांसपोर्ट सर्विस’ प्रोग्राम को लॉन्च किया है। इस पहल के तहत प्रदेश के आम लोग, मोटर लाइसेंसिंग कार्यालय (MOL) में आए बिना अपने घरों से ही पंजीकरण प्रमाण पत्र के साथ-साथ लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस जैसे विभिन्न परिवहन से संबंधित दस्तावेज़ों के लिये आवेदन और उन्हें प्राप्त करने में सक्षम होंगे।
- इस प्रोग्राम के तहत लोगों को केवल ड्राइविंग टेस्ट और कार फिटनेस टेस्ट के लिये परिवहन कार्यालय जाना होगा। इसी के साथ दिल्ली परिवहन संबंधी सभी सेवाओं को ऑनलाइन करने वाला देश का पहला राज्य/केंद्रशासित प्रदेश बन गया है।
- इस प्रोग्राम के माध्यम से चार ज़ोनल कार्यालयों- आईपी एस्टेट, सराय काले खाँ, जनकपुरी और वसंत विहार को बंद किया जा रहा है।
'अल-मोहद अल-हिंदी 2021' अभ्यास
- भारत और सऊदी अरब अपने बढ़ते रक्षा और सैन्य सहयोग को प्रतिबिंबित करते हुए अपना पहला नौसैनिक अभ्यास आयोजित करने जा रहे हैं।
- भारतीय नौसेना का ‘गाइडेड-मिसाइल डिस्ट्रॉयर’ आईएनएस कोच्चि 'अल-मोहद अल-हिंदी 2021' अभ्यास में हिस्सा लेने के लिये संयुक्त अरब अमीरात की नौसेना के साथ नौसैनिक अभ्यास करने के बाद सऊदी अरब पहुँच गया है।
- ओमान के एक मर्चेंट टैंकर पर ड्रोन हमले में एक ब्रिटिश नागरिक और एक रोमानियाई नागरिक की मौत के बाद खाड़ी क्षेत्र में बढ़ते तनाव के बीच यह युद्ध अभ्यास काफी महत्त्वपूर्ण है।
- पिछले वर्ष दिसंबर माह में सेना प्रमुख जनरल एम.एम. नरवणे ने दो महत्त्वपूर्ण खाड़ी देशों- संयुक्त अरब अमीरात और सऊदी अरब का पहली बार दौरा किया था।
सूचना प्रौद्योगिकी (IT) में उत्कृष्टता हेतु राजीव गांधी पुरस्कार
- महाराष्ट्र सरकार ने हाल ही में ‘सूचना प्रौद्योगिकी (IT) में उत्कृष्टता हेतु राजीव गांधी पुरस्कार’ की घोषणा की है। यह पुरस्कार पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की जयंती पर सूचना प्रौद्योगिकी क्षेत्र में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले संस्थानों और कंपनियों को दिया जाएगा। राज्य सरकार के सार्वजनिक उद्यम- महाराष्ट्र आईटी कॉर्पोरेशन लिमिटेड (MAHA-IT) को पुरस्कार के लिये नोडल एजेंसी नियुक्त किया गया है।
- इस पुरस्कार का उद्देश्य भारतीय प्रौद्योगिकी क्षेत्र में राजीव गांधी के अग्रणी योगदान को रेखांकित करना है। उन्होंने देश में ‘सूचना प्रौद्योगिकी’ युग की शुरुआत की, जिसने भारत के सेवा क्षेत्र को बदलने में महत्त्वपूर्ण योगदान दिया।
- यही कारण है कि राजीव गांधी को 'भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी एवं दूरसंचार क्रांति का जनक' और डिजिटल इंडिया के वास्तुकार के रूप में जाना जाता है। राजीव गांधी ने वर्ष 1984 से वर्ष 1989 के बीच देश के छठे प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया। यह समय देश में सूचना प्रौद्योगिकी एवं दूरसंचार की दृष्टि से एक महत्त्वपूर्ण दौर था।
- इसी दौरान देश में अत्याधुनिक दूरसंचार प्रौद्योगिकी विकसित करने और भारतीय दूरसंचार नेटवर्क की ज़रूरतों को पूरा करने के लिये अगस्त 1984 में ‘सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ टेलीमैटिक्स’ (C-DOT) की स्थपना की गई, वर्ष 1986 में ‘महानगर टेलीफोन निगम लिमिटेड’ की स्थापना हुई और इसी समय रेलवे का कंप्यूटरीकरण भी किया गया।
मौसम एवं मानसून पूर्वानुमान हेतु भारत-अमेरिका समझौता
- हाल ही में भारत और अमेरिका ने क्षेत्र में मौसम के पूर्वानुमान में सुधार के लिये मानसून डेटा विश्लेषण एवं सहयोग समझौते पर हस्ताक्षर किये हैं। इस समझौते में भारत की ओर से ‘नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ ओशन टेक्नोलॉजी’ और अमेरिका की ओर से ‘नेशनल ओशनिक एंड एटमॉस्फेरिक एडमिनिस्ट्रेशन’ शामिल हैं।
- इस समझौते के तहत दोनों निकाय ‘रिसर्च मूरड ऐरे फॉर अफ्रीकन-एशियन-ऑस्ट्रेलियन मानसून एनालिसिस एंड प्रिडिक्शन’ (RAMA) प्रणाली और ‘ओसियन मूरड बॉय नेटवर्क इन नॉर्दन इंडियन ओसियन’ (OMNI) प्रणाली के विकास में तकनीकी सहयोग को बढ़ावा देंगे, जो कि इस क्षेत्र में मानसून के पूर्वानुमान में सुधार करने में काफी मददगार होगा।
- यह समझौता भारत के ‘पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय’ और अमेरिका के ‘नेशनल ओशनिक एंड एटमॉस्फेरिक एडमिनिस्ट्रेशन’ के बीच पृथ्वी अवलोकन तथा पृथ्वी विज्ञान में तकनीकी सहयोग के लिये हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापन का अगला चरण है।
स्काईट्रैक्स वर्ल्ड एयरपोर्ट रैंकिंग
- स्काईट्रैक्स वर्ल्ड एयरपोर्ट अवार्ड रैंकिंग-2021 में कतर स्थित ‘दोहा हमद अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा’ को विश्व के सबसे श्रेष्ठ हवाई अड्डे के रूप में चुना गया है। वहीं दिल्ली का ‘इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डा’ इस रैंकिंग में लगातार तीसरी बार दुनिया के शीर्ष-50 सर्वश्रेष्ठ हवाई अड्डों में शामिल हुआ है। इसके अतिरिक्त मुंबई, हैदराबाद और बंंगलूरू ने दुनिया के 100 सर्वश्रेष्ठ हवाई अड्डों में स्थान हासिल किया है। स्काईट्रैक्स वर्ल्ड एयरपोर्ट रैंकिंग के अनुसार, दिल्ली ने 45वीं रैंक हासिल की, जबकि हैदराबाद ने 64वीं, मुंबई ने 65वीं और बंंगलूरू ने 71वीं रैंक हासिल की है। विश्व स्तर पर दुनिया के शीर्ष-5 हवाई अड्डे हैं- ‘दोहा हमद अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा’, ‘टोक्यो हानेडा हवाई अड्डा’, ‘चांगी हवाई अड्डा (सिंगापुर), ‘सियोल इंचियोन अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा’ और ‘टोक्यो नारिता’ हवाई अड्डा। ‘स्काईट्रैक्स वर्ल्ड एयरपोर्ट रैंकिंग’ ग्राहकों की समीक्षाओं के आधार पर जारी की जाती है। इस रैंकिंग को विश्व हवाई अड्डा उद्योग के लिये गुणवत्ता बेंचमार्क के रूप में जाना जाता है।
चंद्रमा पर पानी के अणुओं और हाइड्रॉक्सिल की
उपस्थिति
- एक हालिया शोधपत्र के मुताबिक, ‘चंद्रयान-2’ ऑर्बिटर ने चंद्रमा की सतह पर पानी के अणुओं (H2O) और हाइड्रॉक्सिल (OH) की उपस्थिति की पुष्टि की है। ऑर्बिटर के ‘इमेजिंग इंफ्रारेड स्पेक्ट्रोमीटर’ (IIRS) से प्राप्त प्रारंभिक डेटा के विश्लेषण से चंद्रमा पर 29 डिग्री उत्तर और 62 डिग्री उत्तरी अक्षांश के बीच पानी के अणुओं (H2O) और हाइड्रॉक्सिल (OH) की उपस्थिति की पहचान की गई है।
- शोधकर्त्ताओं के अनुसार, हाइड्रॉक्सिल या पानी के अणुओं का निर्माण ‘अंतरिक्ष अपक्षय’ (Space Weathering) नामक एक प्रक्रिया के कारण होता है, जो तब होता है जब चंद्र सतह पर सौर हवाएँ चलती हैं। विश्लेषण से यह भी ज्ञात हुआ कि चंद्रमा के उच्च अक्षांशों पर तीव्र धूप वाले उच्च भूमि क्षेत्रों में उच्च हाइड्रॉक्सिल या संभवतः पानी के अणु अधिक पाए गए।
- गौरतलब है कि यह खोज भविष्य के मिशनों के लिये काफी महत्त्वपूर्ण है, क्योंकि अगले कुछ वर्षों में चंद्रमा के लिये कई अंतर्राष्ट्रीय मिशनों को लॉन्च किया जाना है। यह भारत का चंद्रमा पर दूसरा मिशन है। चंद्रयान-2 भारत द्वारा चंद्रमा की सतह पर उतरने का पहला प्रयास था। इसरो द्वारा इस मिशन के माध्यम से चंद्रमा की सतह के दक्षिणी ध्रुव पर उतरने की योजना बनाई गई थी।
- हालाँकि लैंडर विक्रम ने सितंबर 2019 में चंद्रमा की सतह पर ‘हार्ड लैंडिंग’ की। किंतु इसका ऑर्बिटर अभी भी चंद्रमा की कक्षा में है और इस मिशन की अवधि सात वर्ष है। ज्ञात हो कि ‘चंद्रयान-1’ मिशन ने पहले ही चंद्रमा की सतह पर पानी की उपस्थिति की पुष्टि कर दी थी, लेकिन सीमित कवरेज के कारण जलयोजन की सटीक प्रकृति का पता नहीं लगाया जा सका था।
प्रधानमंत्री श्रम पुरस्कार
- भारत सरकार ने हाल ही में वर्ष 2018 के लिये ‘प्रधानमंत्री श्रम पुरस्कारों’ (PMSA) की घोषणा की है। ये पुरस्कार केंद्र और राज्य सरकारों के विभागीय उपक्रमों और सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों तथा 500 या उससे ज़्यादा लोगों को रोज़गार देने वाली निजी क्षेत्र की इकाइयों में कार्यरत 69 श्रमिकों को प्रदान किये जाने हैं।
- वर्ष 1985 में स्थापित ये पुरस्कार ‘श्रम एवं रोज़गार मंत्रालय द्वारा प्रदान किये जाते हैं। ये पुरस्कार श्रमिकों को उनके विशिष्ट प्रदर्शन, नवीन क्षमताओं, उत्पादकता के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान और असाधारण साहस व बुद्धिमत्ता का प्रदर्शन करने हेतु प्रदान किये जाते हैं।
- वर्ष 2018 के लिये प्रधानमंत्री श्रम पुरस्कार तीन श्रेणियों में दिये गए हैं। ये श्रेणियाँ हैं- ‘श्रम भूषण पुरस्कार’ (जिसमें 1 लाख रुपए का नकद पुरस्कार दिया जाता है), ‘श्रम वीर/श्रम वीरांगना पुरस्कार’ (जिसमें 60,000 रुपए का नकद पुरस्कार दिया जाता है) और ‘श्रम श्री/श्रम देवी पुरस्कार’ (जिसमें 40,000 रुपए का नकद पुरस्कार दिया जाता है)। कुल पुरस्कार विजेताओं में से 49 कर्मचारी सार्वजनिक क्षेत्र से हैं, जबकि 20 कर्मचारी निजी क्षेत्र से हैं। पुरस्कार पाने वालों में 8 महिला कार्यकर्त्ता भी शामिल हैं।
डीज़ल की डोर-टू-डोर डिलीवरी
- ‘भारत पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड’ (BPCL) ने डीज़ल की बढ़ती मांग को पूरा करने के लिये 'हाई स्पीड डीज़ल' की डोर-टू-डोर डिलीवरी शुरू की है।
- मोबाइल डिस्पेंसर के माध्यम से डोर-टू-डोर डिलीवरी की पहल के परिणामस्वरूप पूरे उद्योग में लगभग 1588 फ्यूलकार्ट और 129 फ्यूलएंट्स चालू किये गए हैं। तीव्र डिलीवरी, गुणवत्ता और मात्रा का पूर्ण आश्वासन, सुरक्षित उत्पाद हैंडलिंग तथा कई अन्य लाभों के साथ फ्यूलकार्ट ग्राहकों के लिये परिचालन दक्षता बढ़ाने में मदद करेंगे, जो व्यापार करने में सुगमता की दृष्टि से काफी महत्त्वपूर्ण साबित होगा।
- कंपनी पहले ही पश्चिम बंगाल, बिहार, झारखंड, ओडिशा और उत्तर-पूर्व राज्यों की ज़रूरतों को पूरा करने हेतु 63 मोबाइल डिस्पेंसर लॉन्च कर चुकी है।
- यह पहल पूर्वी क्षेत्र के युवा उद्यमियों के लिये व्यापार के नए अवसर और रोज़गार सृजित करने में भी काफी मददगार साबित होगी। इसके अलावा कई निजी उद्यम और स्टार्ट-अप भी ईंधन की डोरस्टेप डिलीवरी की सुविधा प्रदान कर रहे हैं।
शहरी क्षेत्र में ‘सामुदायिक वन संसाधन अधिकार’
- हाल ही में छत्तीसगढ़ राज्य सरकार ने 4,127 हेक्टेयर से अधिक वन क्षेत्र पर धमतरी ज़िले के निवासियों के अधिकारों को मान्यता प्रदान की है, जिसके साथ ही छत्तीसगढ़, शहरी क्षेत्र में सामुदायिक वन संसाधन अधिकारों को मान्यता देने वाला पहला राज्य बन गया है।
- गौरतलब है कि वन अधिकार अधिनियम, 2006 के तहत सामुदायिक वन संसाधन अधिकार ग्राम सभाओं को समग्र समुदाय या गाँव द्वारा उपयोग किये जाने वाले किसी भी वन संसाधन की रक्षा, पुनरुत्पादन या संरक्षण या प्रबंधन करने का अधिकार दिया जाता है। उनके अधिकारों की मान्यता के साथ अब ग्राम सभा में शामिल लोगों को जंगल में प्रवेश की अनुमति होगी और वे वन संसाधनों का उपयोग कर सकेंगे।
मलेशिया के प्रधानमंत्री मुहिद्दीन यासीन का
इस्तीफा
- लंबे समय से चल रही राजनीतिक उथल-पुथल के बाद मलेशिया के प्रधानमंत्री मुहिद्दीन यासीन ने हाल ही में अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। मुहिद्दीन यासीन ने प्रधानमंत्री के तौर पर अपने 17 महीने के कार्यकाल के बाद इस्तीफा दिया है, जो कि मलेशिया के किसी भी प्रधानमंत्री का अब तक का सबसे छोटा कार्यकाल है।
राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन मज़दूर न्याय योजना
- छत्तीसगढ़ सरकार ने हाल ही में 12 लाख भूमिहीन परिवारों को लाभान्वित करने हेतु 200 करोड़ रुपए के प्रावधान के साथ ‘राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन मज़दूर न्याय योजना' की शुरुआत की है। राज्य सरकार के मुताबिक, इस योजना राशि को वित्तीय वर्ष 2021-2022 के अनुपूरक बजट में शामिल किया गया है।
- गौरतलब है कि यह ग्रामीण भूमिहीन मज़दूरों के लिये आर्थिक न्याय सुनिश्चित करने की दिशा में अपनी तरह की पहली योजना है। इस योजना का उद्देश्य ग्रामीण भूमिहीन मज़दूरों को न्यूनतम मज़दूरी के साथ समर्थन प्रदान करना है ताकि बुनियादी सुविधाओं तक उनकी पहुँच सुनिश्चित की जा सके।
- योजना के तहत लाभार्थी परिवारों को प्रतिवर्ष 6,000 रुपए की राशि प्रदान की जाएगी। इस योजना के सफल संचालन को सुनिश्चित करने के लिये राज्य सरकार ने लाभार्थी के बैंक खाते से संबंधित किसी भी विसंगति को 15 दिनों के भीतर हल करने हेतु एक तंत्र भी स्थापित किया है।
- राज्य सरकार द्वारा इस योजना के माध्यम से मुख्य तौर पर मनरेगा और ठेका श्रमिकों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। इसके अलावा समाज के अन्य समूहों जैसे- नाइ, धोबी, लोहार और पुजारी आदि को भी इस योजना के तहत कवर किया जाएगा। योजना के लाभार्थी समर्पित पोर्टल पर अपना पंजीकरण करा सकते हैं।
चिक्सुलब प्रभावक: डायनासोर की विलुप्ति
- साउथवेस्ट रिसर्च इंस्टीट्यूट द्वारा प्रस्तुत एक नए शोध के मुताबिक, 66 मिलियन वर्ष पूर्व डायनासोर की विलुप्ति हेतु उत्तरदायी क्षुद्रग्रह के सौरमंडल के मुख्य क्षुद्रग्रह बेल्ट के बाहरी हिस्से से उत्पन्न होने की संभावना है। इस घटना को ‘चिक्सुलब प्रभावक’ के रूप में जाना जाता है और इस विशाल खगोलीय निकाय की अनुमानित चौड़ाई तकरीबन 6 मील (यानी 9.6 किलोमीटर) थी और इसके कारण मेक्सिको के युकाटन प्रायद्वीप में एक बड़ा गड्ढा उत्पन्न हुआ था, जो कि 90 मील (145 किलोमीटर) तक फैला हुआ था।
- पृथ्वी के साथ इस विशाल क्षुद्रग्रह के अचानक संपर्क के बाद क्षुद्रग्रह ने न केवल डायनासोर की प्रजाति को समाप्त कर दिया, बल्कि पृथ्वी की लगभग 75 प्रतिशत जानवरों की प्रजातियों को भी विलुप्त कर दिया।
- यह माना जाता है कि इस घटना के कारण हुए विस्फोटक के परिणामस्वरूप ही ‘मेसोज़ोइक युग’ की समाप्ति हुई। व्यापक स्तर पर विनाश करने वाला यह क्षुद्रग्रह, पृथ्वी से टकराने से पूर्व मुख्य क्षुद्रग्रह बेल्ट में अन्य क्षुद्रग्रहों के साथ सूर्य की परिक्रमा कर रहा था।
- गौरतलब है कि हमारे सौरमंडल में बहुत सारे क्षुद्रग्रह हैं। उनमें से ज़्यादातर क्षुद्रग्रह ‘मुख्य क्षुद्रग्रह बेल्ट’ (Main Asteroid Belt) में पाए जाते हैं। यह मुख्य क्षुद्रग्रह बेल्ट मंगल और बृहस्पति ग्रहों की कक्षाओं के बीच के क्षेत्र में स्थित है।
छात्र उद्यमिता कार्यक्रम 3.0
- अटल इनोवेशन मिशन (AIM) नीति आयोग ने भारत में ‘ला फोंडेशन डसॉल्ट सिस्टम्स’ के सहयोग से हाल ही में ‘अटल टिंकरिंग लैब्स‘ (ATL) के युवा नवप्रवर्तकों के लिये ‘छात्र उद्यमिता कार्यक्रम 3.0' (SEP 3.0) की शुरुआत की है।
- ‘छात्र उद्यमिता कार्यक्रम 3.0’ की थीम 'मेड इन 3डी-सीड द फ्यूचर एंटरप्रेन्योर्स प्रोग्राम' पर आधारित है, जिसे 2017 में ‘ला मेन आ ला पाटे फाउंडेशन’ और ‘ला फोंडेशन डसॉल्ट सिस्टम्स’ द्वारा फ्रांँस में तैयार और शुरू किया गया था।
- इस कार्यक्रम के हिस्से के रूप में प्रत्येक स्कूल (6 छात्र और एक शिक्षक) की एक टीम को 3डी प्रिंटिंग का उपयोग करके अपना स्वयं का स्टार्टअप, डिज़ाइन और प्रोटोटाइप बनाने, मार्केटिंग अभियान तैयार करने, उत्पाद मूल्य निर्धारण को परिभाषित करने और विस्तार करने की रणनीति के लिये सीड फंडिंग आवंटित की जाएगी। इससे उन्हें 'स्टार्टअप कैसे काम करता है', का वास्तविक अनुभव प्राप्त होगा।
- कार्यक्रम के अंत में प्रत्येक स्कूल का स्टार्टअप एक प्रतियोगिता में हिस्सा लेगा और उद्योग एवं शिक्षा जगत के विशेषज्ञों के सामने अपना मार्केटिंग अभियान प्रस्तुत करेगा। इस कार्यक्रम के लिये 26 राज्यों की कुल 50 टीमों का चयन किया गया है। इस कार्यक्रम की विशेषता यह है कि इसमें फ्रांँस और भारतीय स्कूलों के बीच छात्रों व शिक्षकों के लिये बातचीत के अवसर भी होंगे। गौरतलब है कि इस प्रकार की उद्योग भागीदारी युवा छात्रों की आविष्कारशीलता को बढ़ाने के लिये काफी महत्त्वपूर्ण साबित हो सकती है।
भारत-बांग्लादेश आपदा प्रबंधन समझौता
- प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने भारत और बांग्लादेश के बीच आपदा प्रबंधन, सहनीयता और शमन के क्षेत्र में सहयोग पर समझौता ज्ञापन (MoU) को मंज़ूरी दे दी है। इस समझौता ज्ञापन के तहत एक ऐसी प्रणाली स्थापित करने का प्रयास किया जाएगा, जिससे भारत और बांग्लादेश एक-दूसरे की आपदा प्रबंधन व्यवस्था से लाभान्वित हो सकेंगे। इससे आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में तैयारी, त्वरित बचाव व राहत कार्य एवं क्षमता निर्माण को मज़बूती प्रदान करने में सहायता मिलेगी।
- इस समझौते की प्रमुख विशेषताओं में त्वरित बचाव व राहत कार्य, पुनर्निर्माण और रिकवरी हेतु समर्थन; प्रासंगिक जानकारी, रिमोट सेंसिंग डेटा तथा अन्य वैज्ञानिक डेटा का आदान-प्रदान करना; त्वरित बचाव व राहत कार्य के अनुभव/सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करना; आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में अधिकारियों के प्रशिक्षण का समर्थन करना; दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय रूप से संयुक्त आपदा प्रबंधन अभ्यास आयोजित करना; आपदा सहनीय समुदाय बनाने के लिये मानक, नवीनतम तकनीक और उपकरण साझा करना आदि शामिल हैं। इस समझौते में भारत की ओर से ‘राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण’ (NDMA) और बांग्लादेश की ओर से ‘आपदा प्रबंधन और राहत मंत्रालय’ शामिल हैं।
भारत-ऑस्ट्रेलिया नौसेना के लिये 'जॉइंट गाइडेंस’ दस्तावेज़
- भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई नौसेनाओं के प्रमुखों ने हाल ही में दोनों सेनाओं के बीच विभिन्न स्तरों पर बातचीत को कारगर बनाने के लिये एक मार्गदर्शन दस्तावेज़ पर हस्ताक्षर किये हैं।
- ‘जॉइंट गाइडेंस फॉर द ऑस्ट्रेलिया-इंडिया नेवी टू नेवी रिलेशनशिप’ नामक इस दस्तावेज़ के माध्यम से दोनों देशों की नौसेना के बीच समन्वय स्थापित करने में मदद मिलेगी। यह दस्तावेज़ दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों द्वारा सहमत '2020 व्यापक रणनीतिक साझेदारी' से जोड़ा गया है।
- इसका उद्देश्य क्षेत्रीय और वैश्विक सुरक्षा चुनौतियों के लिये साझा दृष्टिकोण सुनिश्चित करना है। गौरतलब है कि अमेरिका और जापान के साथ ऑस्ट्रेलिया तथा भारत चार देश ‘चतुर्भुज सुरक्षा संवाद’ या क्वाड का हिस्सा हैं, जिसका उद्देश्य 'मुक्त, स्वतंत्र और समृद्ध' भारत-प्रशांत क्षेत्र सुनिश्चित करना है।
- यह 'जॉइंट गाइडेंस’ दस्तावेज़ दोनों देशों की नौसेनाओं के द्विपक्षीय संबंधों को और मज़बूत करने हेतु दिशा-निर्देश दस्तावेज़ के रूप में कार्य करेगा। दस्तावेज़ की प्रमुख विशेषताओं में ‘हिंद महासागर नौसेना संगोष्ठी’ (IONS), ‘पश्चिमी प्रशांत नौसेना संगोष्ठी’ (WPNS), ‘हिंद महासागर रिम एसोसिएशन’ (IORA) और ‘आसियान रक्षा मंत्रियों की बैठक- प्लस’ के अधीनस्थ विशेषज्ञ कार्य समूहों सहित विभिन्न क्षेत्रीय एवं बहुपक्षीय मंचों में घनिष्ठ सहयोग स्थापित करना है।
'उभरते सितारे' फंड
- वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने हाल ही में छोटी एवं मध्यम आकार की निर्यातोन्मुखी कंपनियों के लिये 250 करोड़ रुपए के वैकल्पिक निवेश कोष 'उभरते सितारे' फंड का शुभारंभ किया है। इस वैकल्पिक निवेश कोष को संयुक्त रूप से ‘एक्ज़िम बैंक ऑफ इंडिया’ और सिडबी द्वारा प्रायोजित किया जाएगा, जो निर्माण और सेवा दोनों क्षेत्रों में निर्यात-उन्मुख इकाइयों में इक्विटी एवं इक्विटी जैसे उत्पादों के माध्यम से फंड में निवेश करेंगे। इस फंड में 250 करोड़ रुपए का ‘ग्रीनशू’ विकल्प भी शामिल होगा।
- ‘ग्रीनशू’ या 'ओवर-अलॉटमेंट ऑप्शन' IPO अंडरराइटिंग एग्रीमेंट में शामिल एक प्रावधान है, जो अंडरराइटर को अधिक शेयर बेचने का अधिकार प्रदान करता है।
- 'उभरते सितारे कार्यक्रम’ (USP) के माध्यम से उन भारतीय कंपनियों की पहचान की जाएगी, जिनमें वैश्विक मांगों और मानकों को पूरा करते हुए घरेलू क्षेत्र में चैंपियन बनने की क्षमता है। साथ ही इसके तहत ऐसी कंपनियों की भी पहचान की जाएगी, जो वर्तमान में तो खराब प्रदर्शन कर रही हैं, किंतु उनके पास प्रौद्योगिकी, प्रक्रियाओं या उत्पादों और निर्यात की दृष्टि से महत्त्वपूर्ण क्षमता मौजूद हैं।
- वैकल्पिक निवेश कोष वित्तीय एवं सलाहकार सेवाओं और इक्विटी या इक्विटी जैसे उपकरणों में निवेश के माध्यम से संरचित समर्थन प्रदान करेगा। इस फंड का प्राथमिक उद्देश्य एमएसएमई के विकास को प्रोत्साहित करना है, क्योंकि वे रोज़गार सृजन, नवाचार करने और जोखिम लेने के मामले में अर्थव्यवस्था के लिये महत्त्वपूर्ण हैं।
‘ZyCoV-D’ वैक्सीन
- भारतीय दवा नियामक की विषय विशेषज्ञ समिति ने आपातकालीन उपयोग के लिये ‘ज़ाइडस कैडिला’ कंपनी की तीन-खुराक वाली कोविड-19 वैक्सीन- ‘ZyCoV-D’ को मंज़ूरी देने की सिफारिश की है।
- जेनेरिक दवा निर्माता कंपनी ‘ज़ाइडस कैडिला’ ने देश भर में 28,000 से अधिक स्वयंसेवकों के परीक्षण में 66.6% की प्रभावकारिता दर के आधार पर ‘ZyCoV-D’ वैक्सीन को मंज़ूरी देने के लिये आवेदन किया था।
- ‘ZyCoV-D’ एक प्लास्मिड डीएनए वैक्सीन है जो SARS-CoV-2 के स्पाइक प्रोटीन का उत्पादन करती है और मानव प्रतिरक्षा प्रणाली के सेलुलर (T लिम्फोसाइट्स इम्युनिटी) तथा ह्यूमरल (एंटीबॉडी-मध्यस्थता प्रतिरक्षा) के ज़रिये प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया प्रदान करती है।
- ‘ZyCoV-D’ वैक्सीन स्थानीय रूप से उत्पादित ‘कोविशील्ड’, भारत बायोटेक की ‘कोवैक्सिन’, रूस की ‘स्पुतनिक वी’ और अमेरिका में निर्मित ‘मॉडर्ना’ के बाद देश में उपयोग के लिये स्वीकृत पाँचवीं वैक्सीन बन जाएगी। साथ ही यह किसी भी देश में मंज़ूरी पाने वाली दुनिया की पहली डीएनए वैक्सीन भी बन जाएगी।
डिफेंस इंडिया स्टार्ट-अप चैलेंज 5.0
- रक्षा मंत्री ने हाल ही में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ‘इनोवेशन फॉर डिफेंस एक्सीलेंस- डिफेंस इनोवेशन ऑर्गनाइज़ेशन’ (iDEX-DIO) के तहत ‘डिफेंस इंडिया स्टार्टअप चैलेंज 5.0’ का शुभारंभ किया है। ‘डिफेंस इंडिया स्टार्ट-अप चैलेंज के तहत सिचुएशनल अवेयरनेस, ऑगमेंटेड रियलिटी, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, एयरक्राफ्ट-ट्रेनर, नॉन-लेथ डिवाइस, 5G नेटवर्क, अंडर-वाटर डोमेन अवेयरनेस, ड्रोन स्वार्म और डेटा कैप्चरिंग जैसे क्षेत्रों को कवर किया गया है।
- ‘डिफेंस इंडिया स्टार्ट-अप चैलेंज 5.0’ का उद्देश्य भारतीय रक्षा क्षेत्र को ‘आत्मनिर्भर’ बनाना है और नवाचार, डिज़ाइन तथा विकास को नई ऊँचाइयों पर ले जाना है। ‘डिफेंस इनोवेशन ऑर्गनाइज़ेशन’ (DIO) कंपनी अधिनियम 2013 की धारा-8 के तहत पंजीकृत एक 'गैर-लाभकारी’ कंपनी है। इसके दो संस्थापक सदस्य ‘हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड’ (HAL) और ‘भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड’ (BEL)- रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम (DPSUs) हैं। ‘हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड’ और ‘भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड’ नवरत्न कंपनियाँ हैं।
रिमोट सेंसिंग डेटा साझाकरण हेतु ब्रिक्स
समझौता
- ब्राज़ील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका (ब्रिक्स) ने रिमोट सेंसिंग उपग्रह डेटा साझाकरण में सहयोग के लिये एक समझौते पर हस्ताक्षर किये हैं।
- ‘भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन’ (इसरो) के मुताबिक, यह समझौता ब्रिक्स देशों को अपनी अंतरिक्ष एजेंसियों के निर्दिष्ट रिमोट सेंसिंग उपग्रहों के माध्यम से एक ‘वर्चुअल इंस्टॉलेशन’ के निर्माण में सक्षम बनाता है, जिसमें संबंधित देशों के ग्राउंड स्टेशनों से डेटा प्राप्त किया जा सकेगा।
- यह वैश्विक जलवायु परिवर्तन, प्राकृतिक आपदाओं और पर्यावरण संरक्षण जैसी चुनौतियों का सामना करने में ब्रिक्स अंतरिक्ष एजेंसियों के बीच बहुपक्षीय सहयोग को मज़बूत करने में योगदान देगा। यह समझौता ब्रिक्स में भारत की अध्यक्षता के तहत हस्ताक्षरित किया गया है।
राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन
- वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण जल्द ही ‘राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन’ (NMP) का शुभारंभ करेंगी,जिसके तहत सरकार द्वारा आगामी चार वर्षों में बेची जाने वाली अपनी बुनियादी अवसंरचना संपत्तियों को सूचीबद्ध किया जाएगा।
- ‘राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन’ केंद्र सरकार की परिसंपत्ति मुद्रीकरण पहल के लिये एक मध्यम अवधि के रोडमैप के रूप में भी काम करेगी। केंद्रीय बजट 2021-22 में सरकार ने बुनियादी अवसंरचना के लिये नवीन एवं वैकल्पिक वित्तपोषण के साधन के रूप में परिसंपत्ति मुद्रीकरण पर काफी अधिक ज़ोर दिया था और इससे संबंधित कई घोषणाएँ भी की थीं।
- अपने बजट भाषण में वित्त मंत्री ने स्पष्ट किया था कि नए बुनियादी अवसंरचना के निर्माण के लिये वर्तमान सार्वजनिक बुनियादी ढाँचे की संपत्ति का मुद्रीकरण एक महत्त्वपूर्ण वित्तपोषण विकल्प है।
- सरकार ने ‘राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन’ की रियल-टाइम प्रगति की निगरानी के लिये एक परिसंपत्ति मुद्रीकरण डैशबोर्ड भी विकसित किया है। संपत्ति मुद्रीकरण का आशय किसी भी संपत्ति को आर्थिक मूल्य में बदलने की प्रक्रिया से है। इसका उपयोग प्रायः अतिरिक्त संपत्ति के निर्माण के लिये किया जाता है।
भारत में सबसे अधिक ऊँचाई पर मौजूद हर्बल पार्क
- हाल ही में उत्तराखंड के चमोली ज़िले में भारत-चीन सीमा के पास ‘माणा गाँव’ में 11,000 फीट की ऊँचाई पर स्थित भारत के सबसे ऊँचे हर्बल पार्क का उद्घाटन किया गया है।
- भारत के इस सबसे ऊँचे हर्बल पार्क का मुख्य उद्देश्य विभिन्न औषधीय और सांस्कृतिक रूप से महत्त्वपूर्ण अल्पाइन प्रजातियों का और उनके प्रसार एवं आवास पारिस्थितिकी पर शोध करना है।
- यह पार्क उत्तराखंड वन विभाग के अनुसंधान विंग द्वारा ‘माणा वन पंचायत’ द्वारा दिये गए तीन एकड़ क्षेत्र में विकसित किया गया है।
- इसे केंद्र सरकार की ‘क्षतिपूरक वनीकरण कोष प्रबंधन एवं योजना प्राधिकरण’ (CAMPA) के तहत तीन वर्षीय अवधि में विकसित किया गया है। इस हर्बल पार्क में भारतीय हिमालयी क्षेत्र में ऊँचाई वाले अल्पाइन क्षेत्रों की लगभग 40 प्रजातियाँ मौजूद हैं।
- इनमें से कई प्रजातियाँ ‘अंतर्राष्ट्रीय प्रकृति संरक्षण संघ’ (IUCN) की रेड लिस्ट के साथ-साथ राज्य जैव विविधता बोर्ड द्वारा ‘लुप्तप्राय और खतरे’ में मौजूद प्रजाति के रूप में सूचीबद्ध हैं। साथ ही इसमें कई महत्त्वपूर्ण औषधीय जड़ी-बूटियाँ भी शामिल हैं।
सेना में कर्नल पद पर महिलाओं की पदोन्नति
- हाल ही में ‘सेना चयन बोर्ड’ ने 26 वर्ष की सेवा पूरी करने वाली पाँच महिला अधिकारियों को कर्नल रैंक पर पदोन्नत करने की मंज़ूरी दे दी है। यह पहली बार है कि ‘कोर ऑफ सिग्नल’, ‘कोर ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड मैकेनिकल इंजीनियर्स’ (EME) और ‘कोर ऑफ इंजीनियर्स’ में सेवारत महिला अधिकारियों को कर्नल के पद पर पदोन्नत करने की मंज़ूरी दी गई है।
- इससे पूर्व महिलाओं के लिये कर्नल के पद पर पदोन्नति की व्यवस्था केवल आर्मी मेडिकल कोर (AMC), जज एडवोकेट जनरल (JAG) और सेना शिक्षा कोर (AEC) में लागू थी। पाँच महिला अधिकारियों को कर्नल रैंक पर पदोन्नत करने का निर्णय सर्वोच्च न्यायालय के उस निर्णय के बाद आया है, जिसमें महिला उम्मीदवारों को भी ‘राष्ट्रीय रक्षा अकादमी’ (NDA) की प्रवेश परीक्षा में बैठने की अनुमति दी गई थी।
- भारतीय सेना की अन्य शाखाओं में पदोन्नति मिलने से महिला अधिकारियों के लिये कॅरियर के अधिक अवसर उपलब्ध होंगे। गौरतलब है कि सेना, वायु सेना और नौसेना ने वर्ष 1992 में महिलाओं को शॉर्ट-सर्विस कमीशन (SSC) अधिकारियों के रूप में शामिल करना शुरू किया था।
- यह पहली बार था जब महिलाओं को मेडिकल स्ट्रीम के बाहर सेना में शामिल होने की अनुमति दी गई थी। सेना में महिलाओं के लिये एक महत्त्वपूर्ण मोड़ वर्ष 2015 में आया जब भारतीय वायु सेना ने महिलाओं को लड़ाकू स्ट्रीम में शामिल करने का फैसला किया।
‘2016 AJ193’ क्षुद्रग्रह
- दुनिया की सबसे ऊँची इमारत ‘बुर्ज खलीफा’ से भी विशाल क्षुद्रग्रह हाल ही में पृथ्वी के करीब से गुज़रा है। अपने विशाल आकार और पृथ्वी के करीब इसकी कक्षा के कारण वैज्ञानिकों द्वारा इस क्षुद्रग्रह को ‘संभावित खतरनाक क्षुद्रग्रह’ (PHAs) के रूप में वर्णित किया गया था। पृथ्वी से इस क्षुद्रग्रह की दूरी बीते 65 वर्षों में पृथ्वी के पास से गुज़रने वाले किसी भी क्षुद्रग्रह की तुलना में सबसे करीब थी।
- इस क्षुद्रग्रह को अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ‘नेशनल एरोनॉटिकल स्पेस एडमिनिस्ट्रेशन’ (NASA) द्वारा आधिकारिक तौर पर ‘2016 AJ193’ नाम दिया गया था। नासा के मुताबिक, यह खगोलीय निकाय 94,208 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से यात्रा कर रहा था, जो कि इस प्रकार के किसी अन्य खगोलीय निकाय की तुलना में काफी अधिक है। नासा सहित दुनिया भर की विभिन्न अंतरिक्ष एजेंसियों के वैज्ञानिक लगातार क्षुद्रग्रह की गति पर नजर रख रहे हैं। क्षुद्रग्रह सूर्य की परिक्रमा करने वाले छोटे चट्टानी पदार्थ होते हैं।
- क्षुद्रग्रह द्वारा सूर्य की परिक्रमा ग्रहों के समान ही की जाती है लेकिन इनका आकार ग्रहों की तुलना में बहुत छोटा होता है। ‘संभावित खतरनाक क्षुद्रग्रह’ (PHAs) किसी एक क्षुद्रग्रह के पृथ्वी के करीब आने की संभावना को इंगित करता है।
सिम्हाद्री में भारत की सबसे बड़ी फ्लोटिंग सोलर परियोजना
- राज्य संचालित बिजली उत्पादक एनटीपीसी लिमिटेड ने हाल ही में आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में अपने ‘सिम्हाद्री थर्मल स्टेशन’ पर भारत की सबसे बड़ी ‘फ्लोटिंग सोलर पीवी परियोजना’ में वाणिज्यिक परिचालन शुरू कर दिया है।
- 15 मेगावाट की फ्लोटिंग सौर परियोजना को चालू करने के बाद इस सुविधा में कुल स्थापित क्षमता 25 मेगावाट हो गई है। इसी के साथ एनटीपीसी की कुल स्थापित क्षमता अब 53,475 मेगावाट हो गई है, जबकि इसकी वाणिज्यिक क्षमता अब 52,425 मेगावाट तक पहुँच गई है।
- इस फ्लोटिंग सोलर परियोजना में 1 लाख से अधिक सोलर पीवी मॉड्यूल के माध्यम से बिजली पैदा करने की क्षमता है। यह न केवल लगभग 7,000 घरों को रोशन करने में मदद करेगा, बल्कि यह भी सुनिश्चित करेगा कि इस परियोजना के जीवनकाल के दौरान प्रतिवर्ष कार्बन उत्सर्जन में 46,000 टन की कमी आए।
- साथ ही इस परियोजना के माध्यम से प्रतिवर्ष 1,364 मिलियन लीटर पानी की बचत की जा सकेगी। यह 6,700 परिवारों की वार्षिक जल आवश्यकताओं को पूरा करने के लिये पर्याप्त होगा।
मदुर मैट को राष्ट्रीय हस्तशिल्प पुरस्कार
- पश्चिम बंगाल की दो महिलाओं को शिल्प के विकास में उनके उत्कृष्ट योगदान, 'मदुर फ्लोर मैट' (Madur Floor Mats) के निर्माण के लिये राष्ट्रीय हस्तशिल्प पुरस्कार दिया गया।
- इन्हें भारत के राष्ट्रपति द्वारा दिया जाता है।
- शिल्प गुरु पुरस्कार भारत में हस्तशिल्प पुनरुत्थान के स्वर्ण जयंती वर्ष के अवसर पर वर्ष 2002 में स्थापित किया गया था।
- जबकि राष्ट्रीय पुरस्कार वर्ष 1965 में और राष्ट्रीय उत्कृष्टता प्रमाणपत्र वर्ष 1967 में स्थापित किया गया था।
- शिल्प गुरु हस्तशिल्प के क्षेत्र में 20 वर्ष के अनुभव वाले 50 वर्ष से अधिक आयु के कारीगरों को दिया जाने वाला देश का सर्वोच्च पुरस्कार है।
- इसी प्रकार शिल्प के विकास में उत्कृष्ट योगदान को मान्यता देने के लिये 30 वर्ष से अधिक आयु के शिल्पकार, जो हस्तशिल्प के क्षेत्र में 10 वर्ष का अनुभव रखता है, को राष्ट्रीय पुरस्कार प्रदान किया जाता है।
- राष्ट्रीय उत्कृष्टता प्रमाणपत्र उन मास्टर शिल्पकारों, जो 30 वर्ष से अधिक आयु के हैं और हस्तशिल्प के क्षेत्र में 10 वर्ष का अनुभव रखते हैं, को शिल्प को बढ़ावा देने के लिये किये गए उनके कार्य, उसके प्रसार और कौशल स्तर को मान्यता प्रदान करने के लिये दिया जाता है ।
मदुर फ्लोर मैट
- बंगाली जीवनशैली का एक आंतरिक हिस्सा, मदुर मैट या मधुरकथी प्राकृतिक रेशों से बने होते हैं।
- इसे अप्रैल 2018 में जीआई रजिस्ट्री द्वारा भौगोलिक संकेत (GI Tag) टैग से सम्मानित किया गया था।
- यह एक प्रकंद आधारित पौधा (साइपरस टेगेटम या साइपरस पैंगोरेई) है जो पश्चिम बंगाल के पुरबा और पश्चिम मेदिनीपुर के जलोढ़ इलाकों में प्रचुर मात्रा में पाया जाता है।
बंगाल के जीआई टैग वाले अन्य उत्पाद:
- कुष्मंडी का लकड़ी का मुखौटा, पुरुलिया चौ-मुखौटा, गोविंदभोग चावल, तुलापंजी चावल, बंगाल पटचित्र, दार्जिलिंग चाय आदि।
‘चंद्रयान-2’ के डेटा विश्लेषण हेतु प्रस्ताव आमंत्रित
- भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन ने ‘चंद्रयान-2’ ऑर्बिटर प्रयोगों से प्राप्त डेटा के वैज्ञानिक विश्लेषण हेतु प्रस्ताव आमंत्रित किये हैं। गौरतलब है कि इससे पूर्व भी शोधकर्त्ताओं द्वारा चंद्रमा की सतह पर जल की उपस्थिति का पता लगाने के लिये ‘चंद्रयान-1’ मिशन के माध्यम से चंद्रमा की आकृति, चंद्रमा की सतह संरचना, सतह की आयु का निर्धारण और मैग्मैटिक डेटा का व्यापक पैमाने पर उपयोग किया गया था।
- इसरो के मुताबिक, इस प्रकार के अध्ययन चंद्रमा की विकास प्रक्रियाओं को बेहतर तरीके से समझने में मदद करते हैं और चंद्रयान-1 के अध्ययन ने भारतीय वैज्ञानिक समुदाय का काफी विस्तार किया है। चंद्रयान-2 ऑर्बिटर वर्तमान में चंद्रमा के चारों ओर 10,000 वर्ग किलोमीटर में एक गोलाकार ध्रुवीय कक्षा में मौजूद है।
- यह ऑर्बिटर, चंद्रमा की सतह के भूविज्ञान और बहिर्मंडल की संरचना जैसे पहलुओं का अध्ययन करने के लिये अलग-अलग प्रकार के कुल आठ प्रयोग कर रहा है। इसरो का मानना है कि ये अध्ययन पिछले मिशनों की समझ को और अधिक विकसित करने में मददगार साबित हो सकते हैं।
- यह भारत का चंद्रमा पर दूसरा मिशन है। चंद्रयान-2 भारत द्वारा चंद्रमा की सतह पर उतरने का पहला प्रयास था। सितंबर 2019 में लैंडर विक्रम ने चंद्रमा की सतह पर ‘हार्ड लैंडिंग’ की। इसका ऑर्बिटर अभी भी चंद्रमा की कक्षा में है और इस मिशन की अवधि सात वर्ष है।
'सुजलम' अभियान
- जल शक्ति मंत्रालय ने हाल ही में 'आज़ादी का अमृत महोत्सव' समारोह के अंतर्गत 'सुजलम' अभियान की शुरुआत की है, जिसके द्वारा ग्रामीण स्तर पर अपशिष्ट जल प्रबंधन संबंधी गतिविधियों जैसे- दस लाख सोख-गड्ढों का निर्माण और अन्य ग्रेवाटर प्रबंधन गतिविधियों के माध्यम से अधिक-से-अधिक गाँवों को ओडीएफ प्लस गाँवों में परिवर्तित करने का प्रयास किया जाएगा। इस अभियान को आगामी 100 दिनों के लिये संचालित किया जाएगा।
- इस अभियान के माध्यम से न केवल गाँवों में ग्रेवाटर प्रबंधन के लिये वांछित बुनियादी संरचना अर्थात् सोख गड्ढों का निर्माण किया जाएगा, बल्कि जल के सतत् प्रबंधन में भी सहायता प्राप्त होगी। गौरतलब है कि गाँवों में या गाँवों के बाहरी इलाकों में गंदे पानी का निष्कासन और जल निकायों का निस्तारण एक बहुत बड़ी समस्या बनी हुई है। इस अभियान से अपशिष्ट जल प्रबंधन में सहायता प्राप्त होगी और साथ ही जल निकायों को पूर्वरूप में लाने में भी मदद मिलेगी।
- इसके अलावा इस अभियान के माध्यम से सामुदायिक भागीदारी द्वारा ‘स्वच्छ भारत मिशन- ग्रामीण’ के फेज़-II की गतिविधियों को तीव्रता प्राप्त होगी तथा इससे ओडीएफ-प्लस गतिविधियों के बारे में जागरूकता को और अधिक बढ़ावा मिलेगा।
- इस अभियान के अंतर्गत गाँवों में आयोजित की जाने वाली प्रमुख गतिविधियों में- सामुदायिक परामर्श और ग्राम सभा का आयोजन, 100 दिवसीय कार्ययोजना विकसित करना, आवश्यक सोख गड्ढों का निर्माण करना, शौचालयों का निर्माण करना और गाँव के सभी परिवारों को शौचालय की सुविधा प्रदान करना आदि शामिल हैं।
ऑपरेशन देवी शक्ति
- तालिबान द्वारा अफगानिस्तान पर कब्ज़ा करने के बाद काबुल से भारतीय नागरिकों और अफगान भागीदारों को बाहर निकालने के लिये भारत ने ‘ऑपरेशन देवी शक्ति’ नाम से एक अभियान की शुरुआत की है। इस जटिल निकासी अभियान की शुरुआत तालिबान द्वारा अफगान राजधानी पर कब्ज़ा करने के एक दिन बाद 16 अगस्त को तब हुई थी, जब भारत द्वारा 40 भारतीयों को काबुल से एयरलिफ्ट किया गया था। काबुल में बिगड़ती सुरक्षा स्थिति के मद्देनज़र इस अभियान के तहत अब तक भारत ने कुल 800 से अधिक लोगों को अफगानिस्तान से बाहर निकाला है। बीते दिनों अमेरिकी सेना की वापसी के बाद अफगानिस्तान के कट्टरपंथी राजनीतिक और सैन्य संगठन तालिबान ने राजधानी काबुल पर कब्ज़ा कर लिया था, जिसके बाद से अफगानिस्तान में स्थिति काफी अस्थिर एवं चिंताजनक बनी हुई है, ऐसे में तमाम देशों द्वारा अपने नागरिकों और अफगान भागीदारों को बाहर निकालने हेतु प्रयास किये जा रहे हैं। यद्यपि तालिबान ने घोषणा की है कि किसी के साथ भी हिंसा नहीं की जाएगी और वह शांतिपूर्ण ट्रांज़िशन प्रक्रिया का सम्मान करेगा, किंतु लोगों के बीच तालिबान शासन को लेकर डर बना हुआ है।
‘फतह-1’ रॉकेट सिस्टम
- पाकिस्तान ने हाल ही में स्वदेश में विकसित निर्देशित मल्टी-लॉन्च रॉकेट सिस्टम ‘फतह-1’ का सफल परीक्षण किया है। पाकिस्तानी सेना द्वारा इस संबंध में जारी अधिसूचना के मुताबिक, यह हथियार प्रणाली पाकिस्तानी सेना को सटीक निशाना लगाने की क्षमता प्रदान करेगी। यह रॉकेट पारंपरिक आयुध पहुँचाने में सक्षम है। ‘फतह-1’ हथियार प्रणाली 140 किलोमीटर की दूरी तक के लक्ष्य को भेदने में सक्षम है। यह ‘फतह-1’ हथियार प्रणाली का दूसरा परीक्षण था। पाकिस्तान ने जनवरी 2021 में स्वदेश में विकसित ‘फतह-1’ का पहला परीक्षण किया था। इससे पूर्व पाकिस्तान ने 14 अगस्त को परमाणु सक्षम सतह-से-सतह पर मार करने वाली बैलिस्टिक मिसाइल 'गज़नवी' का सफल परीक्षण किया है। यह 290 किलोमीटर की रेंज तक कई तरह के हथियार पहुँचाने में सक्षम है। इससे पूर्व पाकिस्तान ने शाहीन-3 और बाबर क्रूज़ मिसाइल को भी लॉन्च किया था।
सबसे ऊँचा ऑब्ज़र्वेशन व्हील आइन दुबई
- हाल ही में दुबई में दुनिया का सबसे बड़ा और सबसे ऊँचा ऑब्ज़र्वेशन व्हील- ‘आइन दुबई’ शुरू किया गया है। ‘लंदन आई’, जो कि अब तक दुनिया का सबसे ऊँचा ऑब्ज़र्वेशन व्हील था, की ऊँचाई से भी लगभग दोगुना ‘आइन दुबई’ आगंतुकों को 250 मीटर की ऊँचाई तक से दुबई के सुरम्य क्षितिज के राजसी दृश्य का आनंद प्रदान करता है। ब्लूवाटर्स द्वीप पर स्थित ‘आइन दुबई’, दुबई के विश्व प्रसिद्ध आकर्षणों की सूची में एक नए नाम के तौर पर शामिल हुआ है। इसमें प्राइवेट केबिन भी मौजूद हैं
कोंकण अभ्यास 2021
- INS तबर और HMS वेस्ट मिन्स्टर के बीच इंग्लिश चैनल में कोंकण अभ्यास 2021 आयोजित किया गया।
- इंग्लिश चैनल आइल ऑफ ग्रेट ब्रिटेन के दक्षिणी तट और फ्राँस के उत्तरी तट के बीच स्थित है। उत्तर में यह डोवर जलडमरूमध्य द्वारा उत्तरी सागर से अलग होता है।
- द्विपक्षीय कोंकण अभ्यास भारत और यूनाइटेड किंगडम के बीच आयोजित एक नौसैनिक अभ्यास है।
- कोंकण अभ्यास शृंखला की शुरुआत वर्ष 2004 में शुरू की गई थी। तब से इस अभ्यास का आयोजन दोनों देशों की नौसेनाओं द्वारा बारी-बारी से किया जाता है।
INS तबर:
- यह भारतीय नौसेना में तलवार श्रेणी का तीसरा युद्धपोत है, जिसे वर्ष 2004 के दौरान कैलिनिनग्राद, रूस में कमीशन किया गया था।
- यह युद्धपोत हवा या सतह या उपसतह संबंधी मिशन संचालन करने तथा बचाव करने में सक्षम है।
- भारतीय नौसेना के तलवार श्रेणी के युद्धपोत रूस में भारत-रूस संयुक्त उत्पादन के तहत बनाए गए हैं। तलवार श्रेणी के निर्देशित मिसाइल युद्धपोत रूस के क्रिवाक III श्रेणी के युद्धपोत का संशोधित रूप हैं। अन्य युद्धपोतों में शामिल हैं: INS तेग, तरकश, त्रिकंद, तलवार, त्रिशूल।
- अक्तूबर 2016 में, भारत और रूस ने चार क्रिवाक या तलवार स्टील्थ युद्धपोत के लिये एक अंतर-सरकारी समझौते (IGA) पर हस्ताक्षर किये थे।
- पहले दो युद्धपोत रूस के कैलिनिनग्राद स्थित यंतर शिपयार्ड में बनाए जाएंगे। इनके बाद दो युद्धपोत गोवा शिपयार्ड लिमिटेड (GSL) में बनाए जाएंगे।
हैकथॉन मंथन 2021
- पुलिस अनुसंधान और विकास ब्यूरो (BPR&D), अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (AICTE) के समन्वय में एक ऑनलाइन हैकथॉन "मंथन 2021" (Manthan 2021) की शुरुआत करेगा।
प्रतिभागी: देश भर के शिक्षा संस्थानों से
चयनित युवा और पंजीकृत स्टार्टअप।
शामिल संगठन:
- BPR&D की स्थापना पुलिस बल के आधुनिकीकरण के प्राथमिक उद्देश्य के साथ वर्ष 1970 के दशक में गृह मंत्रालय के तहत की गई थी। यह जेल सुधारों के कार्यान्वयन को भी सुनिश्चित करता है।
- AICTE तकनीकी शिक्षा के लिये उपलब्ध सुविधाओं पर सर्वेक्षण करने और समन्वित तथा एकीकृत तरीके से देश में विकास को बढ़ावा देने के लिये एक राष्ट्रीय स्तर का शीर्ष सलाहकार निकाय है।
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